बाल मन उस गीली मिट्टी की तरह है जिसे आप कुम्हार की तरह अपने हाथों के नाजुक स्पर्श से आकार देती हैं। मजबूत बनाने के लिए उसे तजुर्बे और जिम्मेदारी की भट्टी में पकाती हैं। यह तालमेल आज के बच्चे को कल का अभिभावक बना सकता है। पर, आज जाने-अनजाने इस तालमेल में आई गड़बड़ी बच्चे का आज और कल दोनों ही बिगाड़ सकती है। जरा सी नादानी उसकी मनोदशा, तनाव, उसकी मानसिक सेहत पर असर डाल सकती है। ऐसे में आपको जरूरत है तो थोड़े से अनुशासन, समय, ढेर सारे अपनेपन, भरोसे और प्यार देने की ताकि तनाव उसके आस-पास भी न फटके। इसके लिए आपको उसे यह यकीन दिलाना होगा कि आप उसके लिए हर वक्त मौजूद हैं। आप सख्ती ही नहीं करती हैं, उससे प्यार भी करती हैं। ध्यान दीजिए कि उस पर गलतियां थोपी न जाएं। आपका सकारात्मक बर्ताव, सहयोग व प्यार उसकी मानसिक सेहत पर बिल्कुल भी बट्टा नहीं लगने देगा। आपको अपने बच्चे को समझना होगा ताकि आप उसे परेशानियों के भंवर में फंसने से बचा सकें।
जानें कब है विशेषज्ञ की आवश्यकता
गतिविधियों से अंदाजा लगाया जा सकता है कि आपका बच्चा मानसिक रूप से परेशान है। उसका स्वभाव खुद-ब-खुद समस्या को बयां कर देता है-
- बच्चे के व्यवहार में परिवर्तन आना।
- आवश्यकता से अधिक गुस्सा, चिड़चिड़ापन, जिद का होना।
- खाने की आदतों में परिवर्तन यानी ज्यादा खाने लगना या भूख न लगना।
- वजन का कम होना।
- • ठीक से नींद न आना या फिर नींद आने में परेशानी होना।
- बार-बार सिर या पेट दर्द की समस्या।
- ध्यान केंद्रित करने में परेशानी।
- शैक्षणिक प्रदर्शन में गिरावट आना।
- स्कूल से बचना या छुट्टी करना।
- पसंदीदा चीजों से भी रुचि खो देना।
- लोगों से कटना, एकांत में रहना और खुद से ही बातें करना।
- बातों को छिपाना।
तनाव, मन से तन तक
Diese Geschichte stammt aus der September 17, 2022-Ausgabe von Anokhi.
Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.
Bereits Abonnent ? Anmelden
Diese Geschichte stammt aus der September 17, 2022-Ausgabe von Anokhi.
Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.
Bereits Abonnent? Anmelden
ये हैं मेहंदी के नए ट्रेंड
शादी की और सारी तैयारियां तो कर ली, पर क्या मेहंदी का डिजाइन तय किया? आइए आपकी इस मुश्किल को हम हल कर दें, इन दिनों मेहंदी के किस तरह के डिजाइन ट्रेंड में हैं, बता रही हैं शालिनी जैन
आपकी सोच दिखाएगी कमाल
दुनिया में हर तरह की सोच वाले लोग हैं। नकारात्मक लोगों से घिरे होने के बावजूद अपनी सोच और जिंदगी को कैसे सकारात्मक बनाए रखें, बता रही हैं स्वाति गौड़
पीछे हटेंगे पीछा करने वाले
आपको लगता है कि कोई आपका पीछा कर रहा है? आपको अनचाहे कॉल या मैसेज आते हैं? मुमकिन है कि आप किसी स्टॉकर का शिकार बन रही हों। पर, अब उससे डरने का नहीं बल्कि लड़ने का वक्त है। कानून भी आपको यह अधिकार देता है। स्टाकिंग के खिलाफ क्या हैं आपके अधिकार, बता रहे हैं वरिष्ठ अधिवक्ता कृष्ण कुमार गौतम
पहली तिमाही में पेट से जुड़े व्यायाम न करें
हम सबके पास ढेरों सवाल होते हैं, बस नहीं होता जवाब पाने का विश्वसनीय स्रोत। इस कॉलम के जरिये हम एक्सपर्ट की मदद से आपके ऐसे ही सवालों के जवाब तलाशने की कोशिश करेंगे। इस बार गाइनेकोलॉजिस्ट देंगी आपके सवालों के जवाब। हमारी एक्सपर्ट हैं, डॉ. अर्चना धवन बजाज
अब रोज खाओ अंडे
ठंड आते ही प्रोटीन से भरपूर अंडे हमारी डाइट में प्रमुखता से शामिल होने लगते हैं। उबले अंडे या फिर ऑमलेट खाने की जगह अंडों से बनाएं और कौन-कौन से व्यंजन, बता रही हैं देविका सिंह
इनके कान पर भी दें ध्यान
बच्चे दूसरों को देखकर और सुनकर सीखते हैं। पर, अगर वो ठीक से सुन ही न पा रहे हों तो? दुनिया भर के बच्चों में तेजी से कानों से जुड़ी समस्या बढ़ रही है। क्या हैं इसके कारण और कैसे अपने बच्चे को इससे बचाएं, बता रही हैं शमीम खान
ऐसे सुलझेगी पहले साल की पहेली
खूब सारी उम्मीदों और उत्साह के साथ कोई जोड़ा अपने शादीशुदा जिंदगी की शुरुआत करता है। पर, शादी का पहला साल अधिकांश लोगों के लिए उनकी उम्मीदों से कहीं ज्यादा चुनौतीपूर्ण साबित होता है। साथ मिलकर इस चुनौती का कैसे करें सामना, बता रही हैं शाश्वती
ठंड में भी दमकेगी त्वचा
मौसम बदल रहा है और आपकी त्वचा का मिजाज भी। त्वचा पर खुश्की नजर आने लगी है। अब आपको भी समझ जाना चाहिए कि समय आ गया है त्वचा को बदलते मौसम के हिसाब से ढालने का। सर्दियों के लिए कैसी हो त्वचा की तैयारी, बता रही हैं स्वाति शर्मा
विवाह करने का एक फायदा यह भी
हमारी दुनिया में हम से जुड़ी क्या खबरें हैं? हमारे लिए उपयोगी कौन-सी खबर है? किसने अपनी उपलब्धि से हमारा सिर गर्व से ऊंचा उठा दिया? ऐसी तमाम जानकारियां हर सप्ताह आपसे यहां साझा करेंगी, जयंती रंगनाथन
लौंग दा लश्कारा
पिछले कुछ समय में नाक में पहने जाने वाले तरह-तरह के गहनों का चलन बढ़ा है। अगर आपको भी नाक में जेवर पहनने का शौक है, तो आपके पास विकल्पों की भरमार है। कैसे चुनें अपने लिए ये जेवर और क्या-क्या हैं आपके सामने विकल्प, बता रही हैं स्वाति गौड़