बड़ी खबर देता बदलाव
India Today Hindi|May 17, 2023
एनएसडी के इतिहास में पहली बार एक बैच में तीन-चौथाई छात्राएं. प्रक्रिया में किस तरह के बदलाव से हुआ यह मुमकिन, उससे किस तरह की मुश्किलें पेश आईं और आगे क्या हैं संभावनाएं
शिवकेश
बड़ी खबर देता बदलाव

हली मई की शाम दिल्ली में थिएटर के प्रीमियर इंस्टीट्यूट राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय (एनएसडी) में एक बड़ी घटना आकार ले रही थी. उसके अभिमंच सभागार में तीसरे साल के 26 छात्र विदा ले रहे थे. इनमें से 18 छात्राएं थीं. यानी तीन-चौथाई. शास्त्रीय नृत्यों को अगर छोड़ दें तो देश के परफॉर्मिंग आर्ट्स वाले किसी भी संस्थान में यह एक दुर्लभ अनुपात था. खुद एनएसडी के साठेक साल के इतिहास में कुछ बैच में छात्र-छात्राओं का अनुपात 50:50 के इर्द-गिर्द तो पहुंचा लेकिन छात्राओं के ऐसे एकतरफा ढंग से यहां आने में कामयाब होने का यह पहला और अहम सामाजिक-सांस्कृतिक घटनाक्रम था.

और यह पहला ही वाकया उनके लिए अग्निपरीक्षा से कम साबित न हुआ. तीन साल का कोर्स कोरोना की वजह से पांच साल में पूरा हुआ. एनएसडी भी इस दौरान जैसे भूचाल से गुजर रहा था. तीन निदेशक बदले और अब भी वह अस्थाई निदेशक की देखरेख में है. अभिनय जैसी खालिस मंच पर सीखी जाने वाली कला भी उन्हें लॉकडाउन के चलते अरसे तक ऑनलाइन पढ़नी पड़ी. परिसर में लौटने पर अच्छे शिक्षक और ट्रेनिंग के बेहतर हालात के लिए आंदोलन और भूख हड़ताल तक चली. मशहूर और व्यस्त अभिनेता परेश रावल के चेयरमैन होने से भी विद्यालय को कोई खास लाभ न मिल सका.

खैर, बात छात्राओं की. जुलाई 2018 में उनके एनएसडी पहुंचने का सिलसिला भी कम दिलचस्प न था. तब वहीं वॉयस और स्पीच की टीचर रहीं हेमा सिंह याद करती हैं, "क्लास इंट्रोडक्शन में एक के बाद एक 18 छात्राएं चली आ रही थीं. हमें लगा कि अरे! ये कुछ ज्यादा ही दिख रही हैं. उत्साह उनमें गजब का. उन्हें देखकर एक बात समझ में आ गई कि इस बैच के साथ न सिर्फ क्लासेज बल्कि प्रोडक्शन भी चुनौतीपूर्ण होने वाले हैं.”

Diese Geschichte stammt aus der May 17, 2023-Ausgabe von India Today Hindi.

Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.

Diese Geschichte stammt aus der May 17, 2023-Ausgabe von India Today Hindi.

Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.

WEITERE ARTIKEL AUS INDIA TODAY HINDIAlle anzeigen
परदेस में परचम
India Today Hindi

परदेस में परचम

भारतीय अकादमिकों और अन्य पेशेवरों का पश्चिम की ओर सतत पलायन अब अपने आठवें दशक में है. पहले की वे पीढ़ियां अमेरिकी सपना साकार होने भर से ही संतुष्ट हो ती थीं या समृद्ध यूरोप में थोड़े पांव जमाने का दावा करती थीं.

time-read
4 Minuten  |
November 13, 2024
भारत का विशाल कला मंच
India Today Hindi

भारत का विशाल कला मंच

सांफ्ट पावर से लेकर हार्ड कैश, हाई डिजाइन से लेकर हाई फाइनेंस आदि के संदर्भ में बात करें तो दुनिया के अन्य हिस्सों की तरह भारत की शीर्ष स्तर की कला हस्तियां भी भौतिक सफलता और अपनी कल्पनाओं को परवान चढ़ाने के बीच एक द्वंद्व को जीती रहती हैं.

time-read
3 Minuten  |
November 13, 2024
सपनों के सौदागर
India Today Hindi

सपनों के सौदागर

हम ऐसी दुनिया में रहते हैं जहां मनोरंजन से हौवा खड़ा हो है और उसी से राहत भी मिलती है.

time-read
4 Minuten  |
November 13, 2024
पासा पलटने वाले महारथी
India Today Hindi

पासा पलटने वाले महारथी

दरअसल, जिंदगी की तरह खेल में भी उतारचढ़ाव का दौर चलता रहता है.

time-read
4 Minuten  |
November 13, 2024
गुरु और गाइड
India Today Hindi

गुरु और गाइड

अल्फाज, बुद्धिचातुर्य और हास्यबोध उनके धंधे के औजार हैं और सोशल मीडिया उनका विश्वव्यापी मंच.

time-read
4 Minuten  |
November 13, 2024
निडर नवाचारी
India Today Hindi

निडर नवाचारी

खासी उथल-पुथल मचा देने वाली गतिविधियों से भरपूर भारतीय उद्यमिता के क्षेत्र में कुछ नया करने वालों की नई पौध कारोबार, टेक्नोलॉजी और सामाजिक असर पैदा करने के नियम नए सिरे से लिख रही है.

time-read
4 Minuten  |
November 13, 2024
अलहदा और असाधारण शख्सियतें
India Today Hindi

अलहदा और असाधारण शख्सियतें

किसी सर्जन के चीरा लगाने वाली ब्लेड की सटीकता उसके पेशेवर कौशल की पहचान होती है.

time-read
6 Minuten  |
November 13, 2024
अपने-अपने आसमान के ध्रुवतारे
India Today Hindi

अपने-अपने आसमान के ध्रुवतारे

महानता के दो रूप हैं. एक वे जो अपने पेशे के दिग्गजों के मुकाबले कहीं ज्यादा चमक और ताकत हासिल कर लेते हैं.

time-read
10 Minuten  |
November 13, 2024
बोर्डरूम के बादशाह
India Today Hindi

बोर्डरूम के बादशाह

ढर्रा-तोड़ो या फिर अपना ढर्रा तोड़े जाने के लिए तैयार रहो. यह आज के कारोबार में चौतरफा स्वीकृत सिद्धांत है. प्रतिस्पर्धा से प्रेरित होकर भारत के सबसे ताकतवर कारोबारी अगुआ अपने साम्राज्यों को मजबूत कर रहे हैं. इसके लिए वे नए मोर्चे तलाश रहे हैं, गति और पैमाने के लिए आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस सरीखे उथल-पुथल मचा देने वाले टूल्स का प्रयोग कर रहे हैं और प्रतिस्पर्धी बने रहने के लिए नवाचार बढ़ा रहे हैं.

time-read
9 Minuten  |
November 13, 2024
देश के फौलादी कवच
India Today Hindi

देश के फौलादी कवच

लबे वक्त से माना जाता रहा है कि प्रतिष्ठित शख्सियतें बड़े बदलाव की बातें करते हुए सियासी मैदान में लंबे-लंबे डग भरती हैं, वहीं किसी का काम अगर टिकता है तो वह अफसरशाही है.

time-read
10 Minuten  |
November 13, 2024