
स्वरा की सहेली कुम्लक जब उस से मिलने घर आई तो थोड़ी दुविधा में लग रही थी. स्वरा ने उसे बैठाया, चाय बनाई और उस से पूछा, "क्या बात है?"
कुम्लक के चेहरे पर कुंठा के भाव थे, "अब मैं और कहानी नहीं लिख सकती हूं."
स्वरा बोली, "कहानी लिखने में बाधा हो रही है?"
"नहीं."
"फिर क्या बात है? तबीयत खराब है?"
"मुझे एक प्रसिद्ध मैगजीन वालों ने बैन कर दिया है."
"लेकिन तुम तो ठीक हो?"
"क्या खाक ठीक हूं. ऐसा महसूस हो रहा है कि?"
स्वरा ने उस की बात काट दी. उस के जीवन की सफलता के पैमाने अलग थे और शारीरिक स्वास्थ्य से जुड़े थे. उस ने आतुरता से पूछा, "शरीर में तो सबकुछ सुचारु रूप से चल रहा है कि नहीं, वह बता पहले."
Esta historia es de la edición December Second 2022 de Sarita.
Comience su prueba gratuita de Magzter GOLD de 7 días para acceder a miles de historias premium seleccionadas y a más de 9,000 revistas y periódicos.
Ya eres suscriptor ? Conectar
Esta historia es de la edición December Second 2022 de Sarita.
Comience su prueba gratuita de Magzter GOLD de 7 días para acceder a miles de historias premium seleccionadas y a más de 9,000 revistas y periódicos.
Ya eres suscriptor? Conectar

धर्म पर बनी 5 बौलीवुड फिल्में
फिल्ममेकर्स कुछ नया और बड़ा करने के लिए धार्मिक फिल्मों का सहारा लेते हैं. ये दर्शकों के बीच खूब पसंद भी की जाती हैं. बौलीवुड में ऐसी कुछ फिल्में हैं जो काफी विवादों में रहने के बावजूद छप्परफाड़ कमाई कर चुकी हैं.

क्या विचहंट का शिकार हो रहे रणवीर और समय रैना
इंटरनैट के जमाने में कंटेंट का क्या कोई देश है? क्या आप सोशल मीडिया से पारिवारिकता की उम्मीद लगा कर बैठे हैं? सोशल मीडिया पहले ही गटर बन चुका है. सब के पास चॉइस है अपनी पसंद का कंटेंट देखने की और न देखने की. फिर रणवीर और समय रैना से कैसी उम्मीद ?

झूठा दंभ
नौकरी को हलके में लेने वाले सुकेश के साथ एक दिन कुछ ऐसा घटित हुआ कि उस के पास सिवा पछताने के और कुछ नहीं बचा था.

बौडी आप की हक आप का
एकदूसरे के लिए प्रेम दर्शाना गलत नहीं है, लेकिन पब्लिक प्लेस में कई लोग अश्लीलता की हद पार कर देते हैं, जिस से आसपास के लोग अनकंफर्टेबल हो जाते हैं. ऐसे में लड़कियों को खास ध्यान रखना चाहिए, क्योंकि पब्लिक प्लेस में ऐसी हरकतों के वीडियोज सैकंड्स में वायरल हो सकते हैं या वीडियोज बना कर उन लोगों को ब्लैकमेल किया जा सकता है.

उर्दू से नफरत क्यों
किसी भाषा को पैदा होने, बढ़ने और समृद्ध होने में सदियों का समय लगता है. और किसी भाषा को मिटा कर कोई समाज या कोई देश कभी समृद्ध नहीं हुआ. भाषा को औजार बना कर दो संप्रदायों के बीच नफरत पैदा करने वालों को कोई बताए कि कठमुल्लापन उर्दू की देन नहीं, बल्कि सरकार की घटिया शिक्षा नीतियों की देन है, जो देश के बच्चों को एकसमान बेसिक शिक्षा तक उपलब्ध कराने में नाकाम है.

वोटोक्रेसी नहीं डैमोक्रेसी चाहिए
लोकतंत्र वोट देने और लेने तक सीमित रह गया है. जनता, जिसे कभी सत्ता का मुख्य बिंदु माना जाता था, अब सिर्फ एक दिन भूमिका निभाती है. वोटोक्रेसी व डैमोक्रेसी का फर्क धुंधलाता जा रहा है. आइए समझते हैं कि कैसे लोकतंत्र का रूप बदलते वक्त के साथ अपने माने खो रहा है. दि

प्रकृति की मौत और भगवा होता ओडिशा
है तो यह सीधीसादी कौम्पलैक्स लवस्टोरी और उस के बाद प्रेमी द्वारा प्रेमिका को ब्लैकमेल व प्रताड़ित करने की एक दुखद दास्तां जिस पर अब भगवा इबारत लिखी जा रही है.

सोसाइटीज में पैर पसारते मंदिर
आजकल हर सोसाइटी में मंदिर होना आम बात हो चली है. इस की आड़ में सोसाइटी में रहने वालों से मनमाना चंदा और भांतिभांति के कार्यक्रमों के नाम पर पैसे ऐंठे जा रहे हैं. लाउडस्पीकर का शोर और फुजूल का हल्लागुल्ला तो अलग बात है.

भाभी, न मत कहना
सुवित को अपने सामने देख समीरा के होश उड़ गए. अपने दिल को संभालना मुश्किल हो रहा था उस के लिए. वक्त कैसा खेल खेल रहा था उस के साथ?

शादी से पहले जब न रहे मंगेतर
शादी से पहले यदि किसी लड़की या लड़के की अचानक मृत्यु हो जाए तो परिवार वालों से अधिक ट्रौमा उस के पार्टनर को झेलना पड़ता है, उसे गहरा आघात लगता है. ऐसे में कैसे डील करें.