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भारत में 2024 के आम चुनाव 19 अप्रैल से 01 जून, 2024 के मध्य 7 चरणों में सम्पन्न होंगे और 04 जून को चुनाव परिणाम घोषित होगा। चुनाव विश्लेषकों का मानना है कि विगत दो चुनावों के विपरीत इस आम चुनाव में राष्ट्रीय स्तर पर कोई बड़ा मुद्दा नहीं है, जो चुनाव की दिशा को निर्धारित कर सके। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए तीसरी बार सरकार बनाने के लिए प्रयासरत है, तो वहीं दूसरी ओर मुख्य विपक्षी गठबन्धन के रूप में राहुल गाँधी के नेतृत्व में 'इण्डिया' गठबन्धन मोदी के विजयी रथ को रोकने के लिए भरसक प्रयास कर रहा है। यह अंक आपके हाथों में आने तक कई चरणों के चुनाव सम्पन्न हो चुके होंगे और चुनाव विश्लेषक ओपिनियन पोल आदि के माध्यम से चुनाव परिणाम के सम्बन्ध में पूर्वाकलन कर रहे होंगे। प्रस्तुत आलेख में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और विपक्षी गठबन्धन के प्रमुख नेता राहुल गाँधी की जन्मपत्रिकाओं का आम चुनाव के सन्दर्भ में विश्लेषण करने का प्रयास कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अनेक जन्मपत्रिकाएँ प्रचलन में हैं, जिनमें से दो का प्रचलन अधिक है— एक तुला लग्न की और दूसरी वृश्चिक लग्न की, जो इनके चार जन्म समयों पर आधारित हैं। तुला लग्न के दो जन्म समय हैं-09:35 बजे एवं 09:53 बजे, वहीं वृश्चिक लग्न के दो समय हैं- प्रात: 11:00 बजे और मध्याह्न 12:09 बजे। जन्म तारीख और जन्मस्थान के सम्बन्ध में कोई मतभेद नहीं है। जहाँ तक 09:35 बजे जन्म समय का प्रश्न है, तो इस सम्बन्ध में आशीष सेठ लिखते हैं कि यह जन्म समय सन् 2014 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बड़े भाई अमृत मोदी ने वाराणसी में बना हिन्दू विश्वविद्यालय के डॉ. चन्द्रमौलि उपाध्याय को दिया था। शेष तीन जन्म समयों के स्रोत की कोई जानकारी नहीं है। इसी कारण 09:35 बजे का जन्म समय ग्रहण किया गया है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी
जन्म दिनांक : 17 सितम्बर, 1950
जन्म समय : 09:35 बजे
जन्म स्थान : बड़नगर (गुजरात)
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केकड़ी के अष्टमुखी शिवलिंग
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प्रस्तुत लेखमाला \"कैसे करें सटीक फलादेश?\" के अन्तर्गत मिथुन लग्न के नवम भाव में स्थित सूर्यादि नवग्रहों के फलों का विवेचन किया जा रहा है, जिसमें अभी तक सूर्य से बुध तक के फलों का विवेचन किया जा चुका है। उसी क्रम में प्रस्तुत आलेख में गुरु एवं शुक्र के नवम भाव में राशिगत, भावगत, नक्षत्रगत, युतिजन्य व दृष्टिजन्य फलों का विवेचन कर रहे हैं।
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इतिहास के झरोखे से प्रयागराज महाकुम्भ
इटली का निकोलाई मनुची 1656 से 1717 में अपनी मृत्यु पर्यन्त भारत में ही रहा और मुगलों सहित विभिन्न सेनाओं में सेनानायक के रूप में रहा।
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गिफ्ट सिटी की प्लानिंग इस प्रकार की गई है कि साबरमती नदी इसकी पश्चिम दिशा में है। यदि इसके विपरीत गिफ्ट सिटी की प्लानिंग साबरमती नदी के दूसरी ओर की गई होती, तो गिफ्ट सिटी की पूर्व दिशा में आ जाती।
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देवाधिदेव शिव लोककल्याणकारी देवता हैं। शिव अनादि एवं अनन्त हैं। शिव शक्ति का ही आदिरूप त्रिदेव ब्रह्मा, विष्णु एवं महेश में शिव को जहाँ संहार देवता माना है, वहाँ उनका आशुतोष रूप है अर्थात् शीघ्र प्रसन्न होने वाले देव।
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नकेवल शैव धर्मावलम्बियों के लिए, वरन् समस्त सनातनधर्मियों के लिए 'महाशिवरात्रि' एक बड़ा पर्व है। इस पर्व के तीन स्तम्भ हैं: 1. उपवास, 2. रात्रि जागरण, 3. भगवान् शिव का पूजन एवं अभिषेक।