दस साल से कैद गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई जेल बारादरी से ही अपराधिक गतिविधियां चलाकर देश-दुनिया में कौतूहल का केंद्र बना हुआ है। पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला से लेकर बाबा सिद्दीकी हत्याकांड तक, बॉलीवुड स्टार सलमान खान के घर से लेकर कनाडा में खालिस्तानी हरदीप निज्जर और पंजाबी गायक एपी ढिल्लों पर हमले तक, यहां वहां जहां तहां आजकल लॉरेंस गैंग का नाम चमका-चिपका हुआ है। महज 31 साल का लॉरेंस केवल दो दशक में जुर्म की दुनिया का इतना बड़ा नाम कैसे बन गया कि जेल में बैठे-बैठे ही वह अपना सिक्का चला रहा है और जेल के बाहर खुलेआम घूम रहे उसके गुर्गे सोशल मीडिया पर न सिर्फ ऐसी वारदातों को कबूल रहे हैं बल्कि धमकियां भी जारी कर रहे हैं? एक ओर लॉरेंस गुजरात की जेल से इंटरव्यू देता है तो दूसरी ओर उसका पकड़ा गया गुर्गा पुलिस अभिरक्षा में मीडिया के सामने बेझिझक अपने जरायम तंत्र को लेकर बयान देता है। यह सब कैसे मुमकिन हो रहा है?
वाइ श्रेणी के कड़े सुरक्षा घेरे में रहने वाले नेता बाबा सिद्दीकी की हत्या में लौरेंस गैंग का नाम उछलने से जहां मायानगरी मुंबई एक बार फिर से दहल उठी है, वहीं निज्जर की हत्या ने भारत-कनाडा के राजनयिक संबंधों को ऐसा खटाई में डाल दिया कि दोनों देशों ने अपने-अपने दूतावासों से अपने अधिकारियों को हटाकर वापस बुला लिया। निज्जर और गुरपतवंत पन्नू जैसे खालिस्तान समर्थकों को कथित तौर पर संरक्षण देने वाली कनाडा की सरकार अब लॉरेंस बिश्नोई से खतरे की बात कर रही है। इससे सवाल उठने लगे हैं कि आखिर कनाडा और अमेरिका में लॉरेंस का नाम खालिस्तानियों के साथ क्यों जोड़ा जा रहा है। लॉरेंस बिश्नोई को खालिस्तानियों के लिए खतरा क्यों बताया जा रहा है? क्या लॉरेंस गैंग इतना शक्तिशाली हो गया है? कनाडा में लॉरेंस बिश्नोई का नाम सितंबर में इसलिए सुर्खियों में आया क्योंकि वहां रहने वाले पंजाबी गायक एपी ढिल्लों के घर पर फायरिंग की जिम्मेदारी बिश्नोई के करीबी रोहित गोदारा गैंग ने ली थी। इससे पहले खालिस्तानी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का आरोप भी बिश्नोई गैंग के ऊपर लगा था।
この記事は Outlook Hindi の November 11, 2024 版に掲載されています。
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