माना जाता है कि यह शेड महिला मतदाताओं को ज्यादा अपील करता है, जिनके हितों के बारे में उनकी पार्टी कहती है कि हाल ही की मुख्यमंत्री माझी लाडकी बहिन योजना ने उनको पूरा किया है. इस योजना के तहत करीब 2.5 करोड़ महिलाओं को प्रति माह 1,500 रुपए दिए जाते हैं. महायुति सरकार ने भले ही इस योजना की घोषणा की हो लेकिन चूंकि अजित वित्त विभाग देखते हैं लिहाजा उनकी पार्टी दावा करती है कि इसका श्रेय उन्हीं को जाना चाहिए. वे मुस्कराते हुए और महिलाओं के साथ संवाद करते भी देखे जा सकते हैं जो उनके रुखे व्यक्तित्व के विपरीत है. अब जबकि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में रंगने के लिए तैयार है, जिसकी घोषणा कभी भी हो सकती है, तो उन्होंने समर्थन जुटाने और जनता तक पहुंचने के लिए राज्यव्यापी जन सम्मान रैली भी शुरू की है.
बदले हुए अजित पवार का आखिर कारण क्या है? यह छवि चमकाने की कवायद का हिस्सा है, जिसके लिए एनसीपी के प्रमुख ने जुलाई में इमेज कंसल्टेंट नरेश अरोड़ा की राजनैतिक अभियान प्रबंधन कंपनी डिजाइनबॉक्स्ड को रखा है. परिधान वाले आमूल बदलाव से कहीं ज्यादा दूसरी चीजों को दुरुस्त करने के लिए अजित को अपनी उस खराब छवि से उबरने की जरूरत है- जो 2019 में तीन दिन की सत्ता के लिए देवेंद्र फड़नवीस के साथ अवसरवादी सहयोगी के रूप में और 2023 में उपमुख्यमंत्री पद की एवज में चाचा शरद पवार को छोड़ने और पार्टी का नाम और चुनाव चिन्ह अपने साथ ले जाने के कारण बन गई.
Denne historien er fra October 23, 2024-utgaven av India Today Hindi.
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एक नई धड़कन
अभिनेत्री तृप्ति डिमरी की फिल्मों की झड़ी लगी हुई है. विकी और विद्या का वो वाला वीडियो, भूल भुलैया 3 और धड़क 2 रिलीज को तैयार. हिंदी सिनेमा की वे ताजातरीन स्टार बनीं
ऊबते अंधेरे, रोते सन्नाटे के राजमहल
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कर गुजरने वाला स्वप्नदर्शी टाइटन
स्मरण एक ऐसी शालीन शख्सियत का जिसने भारत की वैश्विक महत्वाकांक्षाओं के लिए अपनी अलग ही युक्ति निकाली. उन्होंने इस्पात को सपनों में, कारों को क्रांति में और बोर्डरूम को लॉन्चिंग पैड में तब्दील कर डाला. कॉर्पोरेट परोपकार की उन्होंने एक नई परिभाषा गढ़ दी
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अमेठी में दलित शिक्षक हत्याकांड के बाद चौतरफा निशाने पर आई योगी सरकार. लोकसभा चुनाव में पासी मतों के भाजपा से छिटकने का फायदा उठाने में जुटीं दूसरी पार्टियां
बाढ़ और बर्बादी की गंभीर दर्शक यानी सरकार
उतरते सितंबर में उत्तर बिहार में आई भीषण बाढ़ ने सरकारी तैयारियों की पोल खोल दी. पिछले साल अक्तूबर से ही चल रहे तटबंध सुरक्षा अभियान के बावजूद आठ जगह तटबंध टूट गए. ऐसे में सरकारी बचाव और राहत कार्यों की धीमी सवाल उठ रहे. साल भर की बाढ़ पूर्व तैयारियों के रूप में सरकार आखिर करती क्या रही?
नहीं सीखा कोई सबक
इस ग्रैंड ओल्ड पार्टी को आत्मघाती गतिविधियों के चलते हरियाणा के रूप में एक और हार का सामना करना पड़ा. अगर समय पर पार्टी के अंदरूनी तंत्र को दुरुस्त नहीं किया गया तो महाराष्ट्र और झारखंड में भी उसकी संभावनाएं क्षीण हो सकती हैं
असल चुनौती शुरू होती है अब
इंडिया गठबंधन ने कश्मीर को लेकर तैयार भाजपा की योजनाओं पर पानी फेरा. लेकिन जम्मू-कश्मीर के केंद्र शासित क्षेत्र के दर्जे को देखते हुए वहां के लोगों की उम्मीदों पर खरा उतर पाना उमर अब्दुल्ला के लिए खासा मुश्किल होगा. वहां सत्ता की असली चाभी तो केंद्र सरकार के ही पास
भाजपा का हरियाणा भूचाल
प्रदेश में अवाक करने वाली जीत से भाजपा कार्यकर्ताओं की उदासी टूटी और उनमें जोशोखरोश लौटा, पार्टी को महाराष्ट्र और झारखंड के अगले विधानसभा चुनावों के लिए नई रणनीति का मॉडल मिला
जहरीली हवा पर हवा-हवाई बातें
पिछले छह साल में ऐसा पहली बार हुआ कि सितंबर का महीना खत्म होने से पहले ही दिल्ली की हवा में प्रदूषण तेजी से बढ़ गया. राष्ट्रीय राजधानी से मॉनसून विदा होते ही यहां का एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआइ) 'पुअर' यानी खराब दिखने लगा, 25 सितंबर को दिल्ली का एक्यूआई 235 (201 से 300 के बीच का स्तर 'पुअर' माना जाता है) पर पहुंच जाने के बाद केंद्र, दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश सरकार समेत देश की शीर्ष अदालत भी हरकत में आ गई.
अजित के सामने खड़ा पहाड़
इन दिनों महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार पर गुलाबी रंग का असर दिखता है. चाहे उनकी जैकेट हो या होर्डिंग, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के अध्यक्ष को सादगी के रंग में देखा जा सकता है.