सेवादारों वाली नीली वर्दी पहने और हाथ में भाला लिए सुखबीर व्हीलचेयर पर बैठकर (उनके एक पैर में फ्रैक्चर है) सिखों के सबसे पवित्र मंदिर के प्रवेश द्वार पर पहरेदारी कर रहे थे. तभी एक पूर्व खालिस्तानी आतंकवादी नारायण सिंह चौड़ा ने गोली चला दी जो स्वर्णमंदिर के द्वार पर लगी. वहां मौजूद लोगों के तत्काल दखल ने हमले को विफल कर दिया और चौड़ा को काबू करके पुलिस के हवाले कर दिया गया.
सुखबीर को धार्मिक कदाचार के लिए दो दिन पहले सुनाई गई सजा के तौर पर स्वर्ण मंदिर में सेवादारी के लिए तैनात किया गया था. वे सजा सुनाए जाने के दौरान जब सिख धर्म की सर्वोच्च संस्था अकाल तख्त के सामने खड़े थे तो उनके चेहरे से मायूसी टपक रही थी और आंखों से आंसू बह रहे थे. यह दर्शा रहा था कि वे पश्चाताप कर रहे हैं. उनके साथ अन्य वरिष्ठ अकाली नेता- वफादार और बागी दोनों-मौजूद थे, जो अपनी पार्टी के 2007-17 के शासन के दौरान सिख समुदाय को हिलाकर रख देने वाली घटनाओं में मिलीभगत या चुप्पी साधने के लिए इसी तरह के आरोपों का सामना कर रहे थे. उनके सामूहिक अपराधों में विवादित डेरा प्रमुख नेता गुरमीत राम रहीम को धार्मिक माफी दिलाना, 2015 की बेअदबी की घटनाओं को सही ढंग सेन सुलझाना और 'एनकाउंटर स्पेशलिस्ट' पुलिसवालों का समर्थन करना शामिल था. प्रायश्चित के तौर पर तनखैया नेताओं को सेवादारी का निर्देश दिया गया, जिसमें जूते पोंछना, शौचालय साफ करना और पंजाब के पांच प्रमुख गुरुद्वारों में पहरा देना शामिल है.
Denne historien er fra December 18, 2024-utgaven av India Today Hindi.
Start din 7-dagers gratis prøveperiode på Magzter GOLD for å få tilgang til tusenvis av utvalgte premiumhistorier og 9000+ magasiner og aviser.
Allerede abonnent ? Logg på
Denne historien er fra December 18, 2024-utgaven av India Today Hindi.
Start din 7-dagers gratis prøveperiode på Magzter GOLD for å få tilgang til tusenvis av utvalgte premiumhistorier og 9000+ magasiner og aviser.
Allerede abonnent? Logg på
डॉक्टरी की पढ़ाई 3 डी से होती आसान
मेडिकल कोर्सेज में दाखिला मिलना अमूमन मुश्किल होता है, लेकिन दाखिला मिलने के बाद वहां अच्छे से पढ़ाई और भी मुश्किल होती है.
सुखबीर के जीवन का निर्णायक क्षण
चार दिसंबर को अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में सेवा देते हुए शिरोमणि अकाली दल (एसएडी) नेता सुखबीर सिंह बादल को अप्रत्याशित खतरे का सामना करना पड़ा.
क़ुदरत के रंग-राग
बेंगलूरू में हो रहे इकोज ऑफ अर्थ म्यूजिक फेस्टिवल के सातवें संस्करण का लाइनअप जबरदस्त
टैंक को स्वदेशी बनाने की कनपुरिया तकनीक
कानपुर के कालपी रोड में इंडस्ट्रियल एस्टेट के प्लॉट नंबर 98 में चल रही तीन मंजिला फैक्ट्री आम कारखानों से अलग है.
पुरानी कारों का यूनीकॉर्न
पुरानी कार खरीदने में यही दुविधा रहती है कि कहीं चोरी की तो नहीं या पुलिस केस में तो नहीं फंसी है.
अफसानों का उस्ताद
फिल्म निर्माता इम्तियाज़ अली देहरादून लिटरेचर फेस्टिवल के संरक्षक होने और दोबारा रिलीज हुई लैला मजनूं की सफलता वगैरह के बारे में
आखिरी नतीजे तक जंग
बस्तर में सुरक्षा बलों की भारी मौजूदगी, तकनीक का साथ और सरकार की तरफ से अभियान चलाने की पूरी आजादी के बूते 2024 में माओवादियों के खिलाफ लड़ाई भारी सफलता के साथ आगे बढ़ी
एसी के पीछे की गर्म हवा ! उसे भी साधने का है जुगाड़
पेशे से होम्योपैथिक चिकित्सक प्रमोद स्टीफन का मन ऐसी खोजों में रमता है जो लोगों के लिए लाभदायक तो हो साथ ही पर्यावरण के लिए भी मुफीद हो. उन्होंने इस बार ऐसा जुगाड़ तैयार किया है, जो एसी की गर्म हवा से बाहरी दुनिया को बचाता है.
चाय वालों के लिए वरदान 'फिल्टर कॉफी' मशीन
चंपारण के किसी शहर, कस्बे या बाजार में जाएं, आपको चाय दुकानों पर एक खास चीज नजर आएगी.
बैलों से बना रहे बिजली
लखनऊ में गोसाईंगंज को मोहनलालगंज से जोड़ने वाली सड़क पर पड़ने वाली नई जेल के पीछे तीन एकड़ जमीन पर बनी गोशाला और यहां लगी मशीनें अपनी ही बिजली से रौशन हैं.