एक समय उपेक्षित विषय रहे 'भूजल' पर विगत चार वर्षों से 'ओपन आई न्यूज' के प्रयासों का उत्साहजनक परिणाम हासिल होने लगा है। अब मप्र तथा छत्तीसगढ़ के क्षेत्रीय कार्यालयों ने काफी सक्रियता दिखाते हुए प्रशंसनीय कार्रवाई करना शुरू कर दिया है। आरटीआई के तहत प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रदेश में अवैध बोरवेल सील किए जा रहे हैं, बोरवेल का मंडल के अधिकारियों द्वारा निरीक्षण किया जा रहा है। और तो और संबंधित प्रोजेक्ट को नोटिस भी दिये जा रहे हैं।
भारत सरकार द्वारा ग्राउंड वाटर के निष्कर्षण, नियमों तथा अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं पर दि. 24.09.20 को गजट नोटिफिकेशन जारी किया था। इस दिशा निर्देशों के जारी होने के बाद एक अध्ययन रिपोर्ट में ये तथ्य सामने आए कि मप्र और छग में भूजल एक उपेक्षित विषय रहा है, जहां पर भूजल के निष्कर्षण तथा संरक्षण पर गंभीरता से काम नहीं किया जा रहा है। 'ओपन आई' ने एक रिपोर्ट के जरिए इन दोनों प्रदेशों में भूजल की दयनीय स्थिति को उजागर करते हुए संबंधित विभागों के संज्ञान में मौजूदा हालात को लाते हुए उच्च स्तर पर याचिका प्रस्तुत की थी। प्रधानमंत्री कार्यालय में प्रस्तुत याचिका पर कार्रवाई करते हुए केंद्रीय भूजल अथार्टी ने मप्र तथा छग के क्षेत्रीय निदेशकों को उचित कार्रवाई करने के निर्देश वर्ष 2022 में जारी कर दिए।
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