अगर आप भी वर्षों से खाली पेट वर्कआउट करने की गलती करती आ रही हैं तो आज ही इस भूल को सुधार लें। वर्कआउट करने से आधा घंटा पहले कुछ सेहतमंद आहार लेने की आदत डाल लें, जिससे कि आपके शरीर में वर्कआउट के दौरान ऊर्जा का स्तर बना रहे और आप जमकर वर्कआउट कर सकें।
आजकल युवाओं में फिल्मी सितारों की तर्ज पर खुद को चुस्त-दुरस्त बनाए रखने की चाह काफी बलवती हो रही है। इस चाह के परिणामस्वरूप युवा पीढ़ी जिम में वर्कआउट कर स्वयं को फिट रखने का प्रयास कर रही है। ये क्रेज धीरे-धीरे सभी उम्र की महिला-पुरुषों में देखने को मिल रहा है। लोग सुबह-सवेरे उठकर जिम में जाकर घंटों पसीना बहा रहे हैं, लेकिन ये क्या! उन्हें अपनी बॉडी को लेकर मनचाहे परिणाम हासिल करने में काफी दिक्कतें हो रही हैं। हो भी क्यों नहीं, क्योंकि केवल जिम में जैसे-तैसे कुछ समय के लिए पसीना बहाने से कुछ होने वाला भी नहीं हैं। इसके लिए आपको वर्कआउट से संबंधित संपूर्ण जानकारी होना भी आवश्यक है, जैसे- कब, किस समय, कौन सा वर्कआउट करें, कितने समय तक करें और वर्कआउट के बाद में और पहले क्या खाएं, इत्यादि। आप सोच रहे होंगे कि बाकी सब तो ठीक है लेकिन वर्कआउट से पहले खाना? जी वर्कआउट करके अपनी बॉडी के लिए मनचाहे परिणाम पाने के लिए वर्कआउट से पहले उचित आहार लेना उतना ही आवश्यक है, जितना कि वर्कआउट करने के बाद आवश्यक होता है। हमारा शरीर पूरी तरह से एक मशीन की तरह है। जैसे एक मशीन को सही ढंग से कार्य करने के लिए तेल - ईंधन की आवश्यकता होती है, ठीक उसी प्रकार हमारे शरीर को भी अपने मशीन रूपी शरीर को चलाने के लिए सही समय पर सही ईंधन की आवश्यकता होती है, इसलिए किसी भी समय खाली पेट वर्कआउट करने की गलती कभी नहीं करनी चाहिए।
वर्कआउट करने से कम से कम आधा या एक घंटा पहले हल्का-फुल्का आहार अवश्य लें, जिससे कि शरीर को वर्कआउट के दौरान ऊर्जा मिलती रहे और आपको थकान भी ना हो। ऐसा भी नहीं होना चाहिए कि आप कुछ भी उठाकर पेट भर लें। आहार विशेषज्ञ बता रही हैं आखिर वर्कआउट से पहले कौन-कौन से आहार लेना उचित रहता है, ताकि आपको वर्क आउट करने पर मनचाहे परिणाम मिल सकें और उस दौरान आपके शरीर में ऊर्जा का स्तर बना रहे।
Bu hikaye Sadhana Path dergisinin May 2024 sayısından alınmıştır.
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तुलसी से दूर करें वास्तुदोष
हिन्दू धर्म में तुलसी का पौधा हर घर-आंगन की शोभा है। तुलसी सिर्फ हमारे घर की शोभा ही नहीं बल्कि शुभ फलदायी भी है। कैसे, जानें इस लेख से।
क्यों हुआ तुलसी का विवाह?
कार्तिक शुक्ल एकादशी को तुलसी पूजन का उत्सव वैसे तो पूरे भारत में मनाया जाता है, किंतु उत्तर भारत में इसका कुछ ज्यादा ही महत्त्व है। नवमी, दशमी व एकादशी को व्रत एवं पूजन कर अगले दिन तुलसी का पौधा किसी ब्राह्मण को देना बड़ा ही शुभ माना जाता है।
बड़ी अनोखी है कार्तिक स्नान की महिमा
हिन्दू धर्म में पूर्णिमा का महत्त्वपूर्ण स्थान है। बारह पूर्णिमाओं में कार्तिक पूर्णिमा का महत्त्व सर्वाधिक है। मान्यता है कि इस दिन गंगा स्नान करने से पुण्य फल की प्राप्ति होती है।
सिर्फ एक ही ईश्वर है और उसका नाम हैं सत्यः नानक
सिरवों के प्रथम गुरु थे नानक | अंधविश्वास एवं आडंबरों के विरोधी गुरुनानक का प्रकाश उत्सव अर्थात् उनका जन्मदिन कार्तिक पूर्णिमा को मनाया जाता है। गुरु नानक का मानना था कि ईश्वर कण-कण में व्याप्त है। संपूर्ण विश्व उन्हें सांप्रदायिक एकता, शांति एवं सद्भाव के लिए स्मरण करता है।
सूर्योपासना एवं श्रद्धा के चार दिन
भगवान सूर्य को समर्पित है आस्था का महापर्व छठ । ऐसी मान्यता है कि इस पर्व को करने से सूर्य देवता मनोकामना पूर्ण करते हैं। कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की षष्ठी को यह पर्व मनाया जाता है, जिस कारण इस पर्व का नाम छठ पड़ा। जानें इस लेख से छठ पर्व की महत्ता।
एक समाज, एक निष्ठा एवं श्रद्धा की छटा का पर्व 'छठ'
छठ की दिनोंदिन बढ़ती आस्था और लोकप्रियता इस बात का प्रमाण है कि कुछ तो विशेष है इस पर्व में जो सबको अपनी ओर खींच लेता है। पूजा के दौरान अपने लोकगीतों को गाते हुए, जमीन से जुड़ी परम्पराओं को निभाते हुए हर वर्ग भेद मिट जाता है। सबका एक साथ आकर बिना किसी भेदभाव के ईश्वर का ध्यान करना... यही तो भारतीय संस्कृति है, और इसीलिए छठ है भारतीय संस्कृति का प्रतीक।
जानें किड्स की वर्चुअल दुनिया
सोशल नेटवर्किंग साइट्स के जाल में सिर्फ बड़े ही नहीं बच्चे भी फंसते जा रहे हैं, जिसका परिणाम यह है कि बच्चे धीरे-धीरे वर्चुअल दुनिया में ज़्यादा व्यस्त रहने की वजह से वास्तविक दुनिया से दूर होते जा रहे हैं।
सेहत के साथ लें स्वाद का लुत्फ
अच्छे खाने का शौकीन भला कौन नहीं होता है। खाना अगर स्वाद के साथ सेहतमंद भी हो तो बात ही क्या है। सवाल ये उठता है कि अपनी पसंदीदा खाद्य सामग्रियों का सेवन करके फिट कैसे रहा जाए?
लंबी सीटिंग से सेहत को खतरा
लगातार बैठना आज वजह बन रहा कई स्वास्थ्य समस्याओं की। इन्हें नज़र अंदाज करना खतरनाक हो सकता है। जानिए कुछ ऐसे ही परिणामों के बारे में-
योगा सीखो सिखाओ और बन जाओ लखपति
हमारे पास पैसे नहीं और ललक है लखपति बनने की, ऐसी चाह वाले व्यक्ति को हरदम लगेगा कि कैसे हम बनेंगे पैसे वाले। किंतु यकीन मानिए कि आप निश्चित रूप से लखपति बन सकते हैं केवल योगा का प्रशिक्षण लेकर और योगा सिखाने से ही।