वाराणसी में स्थित रामनगर किले को राज्य का प्रमुख पर्यटन स्थल माना जाता है। इस जगह पर लोग घूमने के साथ-साथ इतिहास को देखने और समझने के लिए आते हैं। इस जगह पर आकर आप इस जगह के पर्यटन स्थल, खानपान और जीवन को समझ सकते हैं। इस जगह का अपना एक बहुत ही बड़ा और विशिष्ट इतिहास रहा है, उसके ऐतिहासिक महत्व को भी आप समझ सकते हैं। आप काशी के राजा रजवाड़ों की शानों शौकत को देख सकते हैं। इस जगह पर एक बहुत ही खूबसूरत संग्रहालय भी स्थित है जो इस जगह के बारे में काफी कुछ बताता है।
रामनगर किले का ये है इतिहास
रामनगर किले का अपना एक बहुत बड़ा महत्व और इतिहास है। यह किला गंगा के पूर्वी तट पर राजा मंशाराम द्वारा 1742 में स्थापित किया गया था। जिसका महत्व आज भी बना हुआ है। देश की स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद अन्य देशी रियासतों की तरह यहां भी राजतंत्र की समाप्ति हो गई और बनारस स्टेट, देशी रियासत का भी भारतीय गणराज्य में विलय हो गया। रामनगर दुर्ग में संग्रहीत अति दुर्लभ कलाकृतियों को सुरक्षित रखने के विचार से महाराजा विभूति नारायण सिंह ने दुर्ग के अंदर ही एक संग्रहालय में समस्त राजसत्ता और राज परिवार की कलाकृतियों को कई वीथिकाओं में सुसज्जित कराकर रखा था।
संग्रहालय की ये हैं खास बातें
Bu hikaye Grehlakshmi dergisinin November 2024 sayısından alınmıştır.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber ? Giriş Yap
Bu hikaye Grehlakshmi dergisinin November 2024 sayısından alınmıştır.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber? Giriş Yap
बुनाई से स्वेटर ही क्यों बुनें घर के लिए सजावट का सामान
स्वेटर्स बनने के बाद अक्सर घर में ऊन बच जाती है। इस बची ऊन से आप सजावट का सामान तैयार कर सकते हैं, जिसके लिए आप लेख से मदद ले सकते हैं।
जाने विवाह पंचमी पर क्यों नहीं होता विवाह
मार्गशीर्ष शुक्ल पंचमी को भगवान राम ने माता सीता के साथ विवाह किया था। इसलिए हर साल इस तिथि को श्रीराम विवाहोत्सव के रूप में मनाया जाता है। भगवान श्रीराम चेतना के प्रतीक हैं और माता सीता प्रकृति शक्ति की प्रतीक हैं। ऐसे में चेतना और प्रकृति का मिलन होने से ये दिन काफी महत्वपूर्ण हो जाता है।
शारदा सिन्हा से है छठ के गीतों की महक
मैं किसी हाल में मायूस नहीं हो सकती, जुल्मतें लाखों हो मगर उम्मीद सहर रखती हूं, ये मिसरा शारदा सिन्हा पर बिल्कुल फिट बैठता है। उन्होंने अपनी जिंदगी में कभी उम्मीद नहीं छोड़ी और जिंदादिली के साथ अपनी पूरी जिंदगी जीती रहीं।
स्वाद में लजीज और बनाने में आसान हैं ये सूप
इस मौसम में तरह-तरह की सब्जियां भी आती हैं जिनसे आप हर दिन अलग-अलग तरह के सूप बनाकर पी सकते हैं। चलिए आज हम आपको ऐसे 6 सूप की रेसिपी बताते हैं जिन्हें आप आसानी से सर्दियों के मौसम में घर में बना सकते हैं।
घर पर पड़ी जरुरी चीजों से बनाएं बाजार वाला हेयर मास्क
सर्दियों में बाल काफी रूरवे हो जाते हैं खासतौर से जिन्हें ड्राईनेस की दिक्कत है उनके बालों की चमक कम हो जाती है। ऐसे में आप किचन में इस्तेमाल होने वाली चीजों से सस्ता हेयर मास्क बना सकती हैं। इनके दुष्परिणाम भी न के बराबर होते हैं।
दादी-मां के नुस्खों से त्वचा रहे खिली-खिली और मुलायम
सर्दियों में त्वचा को मुलायम बनाए रखने के लिए महंगे प्रोडक्ट्स खरीदने की जगह घरेलू चीजों का इस्तेमाल करें। यह आपकी त्वचा को महंगे स्किनकेयर प्रोडक्ट जैसी देखभाल देता है और इनसे कोई साइड इफेक्ट भी नहीं होता है।
हाइड्रेटिंग ड्यूई मेकअप लुक से पाएं नेचुरल जैसा ग्लो
सर्दियों में त्वचा से नमी कहीं खो जाती है इसलिए मेकअप आर्टिस्ट इन दिनों ड्यूई मेकअप करने की सलाह देते हैं। यह त्वचा को नमी प्रदान करने के साथ ग्लोइंग भी दिखाता है। इस तरह का मेकअप सर्दियों में दिन और रात दोनों ही वाले फंक्शन में सुंदर नजर आते हैं।
विटामिन सी खाने के ही नहीं लगाने के भी हैं फायदे
विटामिन सी एक एंटी ऑक्सीडेंट है, जो रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के साथ त्वचा को खूबसूरत और जवां बनाता है। यानी इसे खाने और लगाने के कई फायदे हैं। चलिए जानते हैं इसके अनगिनत फायदे।
सर्दी-खांसी से बचे रहना चाहते हैं तो जरूर खाएं ये सुपरफूड्स
बदलते मौसम में अक्सर इम्युनिटी कमजोर हो जाती है इसलिए इस दौरान ऐसा आहार चाहिए जो आपको भीतर से मजबूत बनाए। चलिए जानते हैं कि सर्दियों में क्या खाएं कि शरीर को शक्ति और ऊर्जा दोनों मिले।
सर्दियों में गर्माहट के साथ स्टाइलिश लुक देंगे ये बूट्स
अगर आप तेज कड़कती ठंड में अपने पैरों को बचाना चाहते हैं, तो बूट्स से बेहतर और कोई फुटवियर नहीं है। आइए नजर डालते हैं कुछ लेटेस्ट डिजाइन के बूट्स पर।