शब्दों के साथ हमारे संबंध की नई परिभाषा
India Today Hindi|January 17, 2024
शब्द, हमारे संचार, इतिहास और ज्ञान के निर्माण खंड, अब एआइ की जद में हैं. यह महज एक तकनीकी छलांग नहीं है. यह एक बुनियादी बदलाव है कि हम किस तरह से सूचनाओं के साथ बातचीत करते हैं और खुद को अभिव्यक्त करते हैं
रोहन मूर्ति
शब्दों के साथ हमारे संबंध की नई परिभाषा

क बार फिर, हम तकनीकी क्रांति के मुहाने पर खड़े हैं, इस बार इसका नेतृत्व आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआइ) कर रहा है. तकनीकी विकास की भव्य कहानी में एआइ किसी आवर्ती मूल भाव की तरह भरपूर संभावनाओं के साथ हर कुछ दशकों में उभरता है, लेकिन हमारी आसमान छूती उम्मीदों के सामने छोटा पड़ जाता है. हालांकि आज कहानी अलग तरह से सामने आ रही है; एआइ की हालिया प्रगति केवल एक क्षणभंगुर आकर्षण नहीं है - वह एक परिवर्तनकारी ताकत है जो हमारी दुनिया को नया आकार देगी.

इस बदलाव के केंद्र में 'ट्रांसफॉर्मर' हैं, जो एआइ एल्गोरिद्म का एक अभूतपूर्व वर्ग है. ये एल्गोरिद्म पहले से अकल्पनीय तरीकों से टेक्स्ट को पढ़ते हैं और उसकी व्याख्या करते हैं, शब्दों के विशाल पुस्तकालयों को जज्ब कर लेते हैं, भाषा के जटिल नृत्य को समझते हैं, और ऐसे टेक्स्ट को तैयार करते हैं जो आश्चर्यजनक रूप से इंसान की ओर से तैयार लगता है.

लेकिन वे ऐसा गजब का काम कैसे कर लेते हैं? यहां एक बेहद मामूली व्याख्या दी गई है जिसमें बारीकियां और जटिलता नहीं है. जरा सोचिए कि आपने लाइब्रेरी की हरेक किताब को शब्दों की लय और प्रवाह के साथ आत्मसात करते हुए पढ़ा है. फिर आप एक निबंध लिखना शुरू करते हैं और 'नीला' शब्द के बाद सबसे सटीक शब्द चुनने की कोशिश करते हैं. आपके पढ़े गए पाठ के आधार पर, आपका दिमाग पहले देखे गए विकल्पों को तलाशता है- समुद्र, आसमान, रात, स्टील, आंखें - हर सटीक शब्द को तौलता है. लेकिन आपकी पसंद पहले आए शब्दों की सिम्फनी के साथ ही उस संदर्भ से भी सूचित होती है जिसमें ये शब्द लिखे गए थे. इसी तरह, ये एल्गोरिद्म कई पूर्ववर्तियों पर विचार करके अगले शब्द की भविष्यवाणी करते हैं, फिर सबसे संभावित अगले शब्दों की एक छोटी सूची से चयन करते हैं. इसलिए अगर पहले के पैराग्राफ पर्यावरण के बारे में हैं, तो अगले शब्द के लिए संभावित उम्मीदवार शब्द शायद 'महासागर' या 'आसमान' है. लेकिन आप किसे चुनते हैं? ये एल्गोरिद्म अक्सर बेतरतीब ढंग से ऐसी सूची से अगला शब्द चुनते हैं ! और यह बेतरतीबी एक उल्लेखनीय रचनात्मक रचना के रूप में प्रकट होती है (यह सवाल कभी और पूछा जा सकता है- तो क्या रचनात्मकता किसी प्रकार की बेतरतीबी है?). चैटजीपीटी जैसे टूल की सहज और बुद्धिमान प्रतिक्रियाओं के पीछे यही राज है.

هذه القصة مأخوذة من طبعة January 17, 2024 من India Today Hindi.

ابدأ النسخة التجريبية المجانية من Magzter GOLD لمدة 7 أيام للوصول إلى آلاف القصص المتميزة المنسقة وأكثر من 9,000 مجلة وصحيفة.

هذه القصة مأخوذة من طبعة January 17, 2024 من India Today Hindi.

ابدأ النسخة التجريبية المجانية من Magzter GOLD لمدة 7 أيام للوصول إلى آلاف القصص المتميزة المنسقة وأكثر من 9,000 مجلة وصحيفة.

المزيد من القصص من INDIA TODAY HINDI مشاهدة الكل
शोख सनसनी दिल्ली की
India Today Hindi

शोख सनसनी दिल्ली की

आर्ट क्यूरेटर, परोपकारी और सोशल मीडिया सनसनी शालिनी पासी नेटफ्लिक्स की सीरीज फैबुलस लाइव्ज वर्सज बॉलीवुड वाइव्ज में शिरकत करने के बाद मिली शोहरत का मजा ले रहीं

time-read
1 min  |
December 04, 2024
पाइ पटेल की भारत यात्रा
India Today Hindi

पाइ पटेल की भारत यात्रा

यान मार्टेल के चर्चित उपन्यास लाइफ ऑफ पाइ पर फिल्म भी बनी. और अब यह पुरस्कार विजेता नाटक

time-read
2 mins  |
December 04, 2024
कला कनॉट प्लेस के इर्द-गिर्द की
India Today Hindi

कला कनॉट प्लेस के इर्द-गिर्द की

धूमीमल गैलरी में चल रही प्रदर्शनी ज्वॉइनिंग द डॉट्स दिल्ली के सांस्कृतिक दिल कनॉट प्लेस के चिरस्थायी आकर्षण को एक तरह की आदरांजलि

time-read
3 mins  |
December 04, 2024
हिंदुस्तानी सिनेमा की एक नई रौशनी
India Today Hindi

हिंदुस्तानी सिनेमा की एक नई रौशनी

फिल्मकार पायल कपाडिया इन दिनों एक अलग ही रंगत में हैं. वजह है उनकी फिल्म ऑल वी इमेजिन ऐज लाइट और उन्हें मिल रही विश्व प्रसिद्धि. उनका सफर एक बड़े सिनेमाई मुकाम पर जा पहुंचा है. अब यहां से इस जुनूनी आर्टिस्ट का करियर एक नई उड़ान लेने को तैयार

time-read
7 mins  |
December 04, 2024
रतन टाटा जिन्हें आप नहीं जानते
India Today Hindi

रतन टाटा जिन्हें आप नहीं जानते

पिछले महीने 86 वर्ष की उम्र में दिवंगत हुए रतन टाटा. भारत की सबसे पुरानी विशाल कंपनी के चेहरे रतन को हम में से ज्यादातर लोगों ने जब भी याद किया, वे एक सुविख्यात सार्वजनिक शख्सियत और दूसरी ओर एक रहस्यमय पहेली के रूप में नजर आए.

time-read
8 mins  |
December 04, 2024
विदेशी निवेश का बढ़ता क्लेश
India Today Hindi

विदेशी निवेश का बढ़ता क्लेश

अर्थव्यवस्था मजबूत नजर आ रही है, मगर विदेशी निवेशक भारत पर अपना बड़ा और दीर्घकालिक दांव लगाने से परहेज कर रहे हैं

time-read
6 mins  |
December 04, 2024
अब शासन का माझी मंत्र
India Today Hindi

अब शासन का माझी मंत्र

मोहन चरण माझी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार राज्य में 'जनता प्रथम' के सिद्धांत वाली शासन प्रणाली स्थापित कर रही. उसने नवीन पटनायक के दौर वाले कथित नौकरशाही दबदबे को समाप्त किया. आसान पहुंच, ओडिया अस्मिता और केंद्रीय मदद के बूते बड़े पैमाने पर शुरू विकास के काम इसमें उसके औजार बन रहे

time-read
6 mins  |
December 04, 2024
होशियार! गठरी में लगे महा डिजिटल ढंग
India Today Hindi

होशियार! गठरी में लगे महा डिजिटल ढंग

अमूमन दूसरे देशों के ठिकानों से साइबर अपराधी नेटवर्क अब टेक्नोलॉजी और फंसाने के मनोवैज्ञानिक तरीकों से जाल बिछाकर और फर्जी पुलिस और प्रवर्तन अफसरों का वेश धरकर सीधे सरल लोगों की जीवन भर की जमा-पूंजी उड़ा ले जा रहे

time-read
4 mins  |
December 04, 2024
कुछ न कर पाने की कसक
India Today Hindi

कुछ न कर पाने की कसक

कंग्रेस ने 16 दिसंबर, 2023 को जितेंद्र 'जीतू' पटवारी को मध्य प्रदेश का अपना नया अध्यक्ष बनाने का ऐलान किया था.

time-read
2 mins  |
December 04, 2024
पुलिस तक पर्याप्त नहीं
India Today Hindi

पुलिस तक पर्याप्त नहीं

गुजरात के तटीय इलाके में मादक पदार्थों की तस्करी और शहरी इलाकों में लगातार बढ़ती प्रवासी आबादी की वजह से राज्य पुलिस पर दबाव खासा बढ़ गया है. ऐसे में उसे अधिक क्षमता की दरकार है. मगर बल में खासकर सीनियर अफसरों की भारी कमी है. इसका असर उसके मनोबल पर पड़ रहा है.

time-read
3 mins  |
December 04, 2024