उनके बीच आपसी समझ
Rupayan|April 21, 2023
कई भाई-बहन जैसे-जैसे बड़े होते हैं, एक-दूसरे से दूर हो जाते हैं। उनमें ईर्ष्या, असुरक्षा या प्रतिद्वंद्विता की भावना पैदा हो जाती है। ऐसे में उनके बीच बंधन की नाजुक समझ का पोषण जरूरी है।
रूपाश्री शर्मा
उनके बीच आपसी समझ

भाई-बहन बड़े होने के बाद एक-दूसरे के लिए सबसे बड़ा सहारा होते हैं, तो एक-दूसरे के वहीं बचपन में प्रतिस्पर्धी भी होते हैं। घर में कभी-कभी बच्चों की शरारतें गूंजती हैं, तो कभी-कभी उनके झगड़ों से माता-पिता परेशान भी होते हैं। जब वे बेटा-बेटी की लड़ाई होने पर किसी एक की तरफदारी करते हैं तो उनके मन में एक-दूसरे के प्रति कड़वाहट भरती है। ऐसे में आपको यह जानना जरूरी है कि दोनों के झगड़े के दौरान उनसे क्या बातें बोलनी चाहिए और क्या नहीं?

बड़े पर दबाव नहीं: जब भी भाई-बहन के बीच लड़ाई होती है तो बड़े बच्चे को यही कहकर पीछे हटने की सलाह दी जाती है कि तुम बड़े हो और तुम्हें इतना बचपना नहीं दिखाना चाहिए। यह कहकर कई बार माता-पिता बड़े के सही होने पर भी उसकी भावनाओं को आहत कर देते हैं। इसके अलावा छोटे बच्चों के बीच लड़ाई होने पर कई बार नौबत हाथापाई तक पहुंच जाती है। ऐसे में माता-पिता का यह कहना कि तुम बिल्कुल ठीक हो और कुछ नहीं हुआ है, बच्चे के दिल को दुखा सकता है। 

Diese Geschichte stammt aus der April 21, 2023-Ausgabe von Rupayan.

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