1. मिट्टी की उर्वरता
मिट्टी की उर्वरता का तात्पर्य मिट्टी में उन पोषक तत्वों की मात्रा से है जो पौधों की वृद्धि के लिए आवश्यक हैं। कपास की गुणवत्ता और पैदावार में वृद्धि के लिए विभिन्न पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है, जिनमें नाइट्रोजन, फास्फोरस और पोटेशियम प्रमुख हैं। नाइट्रोजन पौधों की वृद्धि, हरी पत्तियों के विकास और प्रोटीन संश्लेषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यदि नाइट्रोजन की कमी होती है, तो पत्तियां पीली पड़ जाती हैं, जिससे फसल की गुणवत्ता प्रभावित होती है।
फास्फोरस जड़ों के विकास, फूलों के निर्माण और फल आने के लिए आवश्यक है और यह ऊर्जा संचय में भी मदद करता है। इसकी कमी से पौधों की पत्तियां गहरी हरी या बैंगनी रंग की हो जाती हैं। पोटेशियम जल संतुलन, रोग प्रतिरोधक क्षमता और फसल की गुणवत्ता को बनाए रखने में सहायक होता है, जबकि इसकी कमी से पत्तियों के किनारे सूख जाते हैं और पौधे कमजोर हो जाते हैं।
इसके अलावा अन्य महत्वपूर्ण पोषक तत्वों में कैल्शियम भी शामिल है, जो सेल की दीवारों को मजबूत बनाने और जड़ों के विकास में मदद करता है। कैल्शियम की कमी से नई पत्तियों में भेद होने की समस्या उत्पन्न होती है। मैग्नीशियम क्लोरोफिल का एक प्रमुख घटक है, जो प्रकाश संश्लेषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इसकी कमी से पत्तियों में पीले धब्बे दिखाई देते हैं और अंततः पत्तियां गिरने लगती हैं। सल्फर प्रोटीन निर्माण में महत्वपूर्ण है और यह कई एंजाइमों का हिस्सा होता है। इसकी कमी से पत्तियां पीली पड़ जाती हैं और विकास रुक जाता है। लोहा क्लोरोफिल के निर्माण में मदद करता है और ऊर्जा उत्पादन में महत्वपूर्ण होता है। इसकी कमी से युवा पत्तियों में पीले धब्बे दिखाई देते हैं, जबकि मुख्य तना हरा रहता है। जिंक एंजाइमों का घटक है और इसे हार्मोन निर्माण के लिए आवश्यक माना जाता है। जिंक की कमी से पत्तियों की वृद्धि में रुकावट और विकृतियां दिखाई देती हैं। बोरॉन पत्तियों और फूलों के विकास के लिए आवश्यक है, जबकि मोलिब्डेनम नाइट्रोजन के विघटन में मदद करता है और पौधों के विकास में महत्वपूर्ण होता है। इन सभी पोषक तत्वों की संतुलित मात्रा का उपयोग करके किसान कपास की फसल की गुणवत्ता और पैदावार को बढ़ा सकते हैं।
1. 1 उर्वरक प्रबंधन
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कपास विज्ञानी - डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव
डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव एक उजबेक विज्ञानी हैं जिनको 2013 के इंटरनेशनल कॉटन एडवाईजरी कमेटी रिसर्चर के तौर पर जाना जाता है। डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव कोलाबोरेटर प्रोजैञ्चट डायरेञ्चटर हैं।
बिहार का सॉफ्टवेयर इंजीनियर कर रहा ड्रैगन फ्रूट की खेती
आज के अधिकांश युवा पीढ़ी के किसान अपनी पारंपरिक खेती से दूर हो रहे हैं। उसी में कुछ ऐसे किसान हैं जो स्टार्टअप के रूप में अत्याधुनिक खेती कर लाखों रुपए कमा रहे हैं।
अब मशीनें पकड़ेंगी दूध में यूरिया की मिलावट
भारत में टैक्नोलॉजी को तेजी से बढ़ाया जा रहा है जिससे आम जनता को काफी फायदा मिल रहा है। अब ज्यादा दिनों तक दूध में यूरिया की मिलावट करने वाली कंपनियां लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ नहीं कर पाएंगी। मिलावटी दूध में यूरिया का पता तरबूज के बीज से लगाने के लिए बायो इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस ढञ्ज-का ने बना लिया है।
मिट्टी जांच के लिए आईआईटी कानपूर ने बनाई मशीन
आईआईटी कानपुर ने मिट्टी की जांच के लिए एक डिवाइस विकसित किया है, जो 90 सैकेंड में मिट्टी के 12 पोषक तत्वों की जांच कर सकता है। यह उपकरण किसानों को उनकी मिट्टी की गुणवत्ता के बारे में तुरंत जानकारी प्रदान करेगा, जिससे वे अपनी फसलों को उचित पोषण दे सकते हैं।
हजार साल पुराना बीज भी हुआ अंकुरित
कृषि वैज्ञानिकों, वनस्पति विज्ञानियों और इतिहासकारों के एक अंतराष्ट्रीय दल को हजार साल पुराने बीज को उगाने में सफलता मिली है। इस बीज से फूटा अंकुर अब एक परिपक्व पेड़ में तब्दील हो चुका है। गौरतलब है कि यह बीज इजरायल की एक गुफा में पाया गया था।
दो अरब लोगों को नहीं मिल रहा पोषक तत्व
विश्व खाद्य दिवस हर साल 16 अक्टूबर को मनाया जाता है, जो वर्तमान समय की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक-भूख और खाद्य असुरक्षा की ओर ध्यान आकर्षित करता है। यह दिन भोजन की कमी और कुपोषण से जूझ रहे लाखों लोगों की दुर्दशा की ओर दुनिया भर का ध्यान आकर्षित करने का भी है, टिकाऊ कृषि, समान खाद्य वितरण और पौष्टिक भोजन तक सभी की पहुंच परम आवश्यक है।
क्या जीएम फसलें लाभकारी हैं?
जेनेटिकली मोडीफाईड फसलें (जीएम) एक बड़े विवाद का विषय रही हैं। हाल ही में मैक्सिको की सरकार ने अपनी सबसे महत्वपूर्ण फसल मक्का को जीएम से बचाने के लिए एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार की है।
रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि से किसानों को बड़ी राहत
केंद्र सरकार ने प्रमुख रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया। यह बढ़ोतरी विपणन वर्ष 2025-26 के लिए सभी रबी फसलों के लिए की गई। है।
फल, सब्जियों में उपयोग होने वाली नीम तुलसी कीटनाशक बनाने की वैज्ञानिक विधि
फल, सब्जियों की अच्छी पैदावार के लिए नीम तुलसी कीटनाशक काफी लाभदायक साबित होती है। इस कीटनाशक को बनाने के लिए किसानों को अधिक मेहनत करने की जरुरत नहीं है। इसके लिए आज हम आसान वैज्ञानिक विधि लेकर आए हैं, यहां जानें नीम तुलसी कीटनाशक बनाने की पूरी विधि -
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अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम (आईएफसी) उत्तर प्रदेश में कृषि क्षेत्र, सौर ऊर्जा और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए आर्थिक सहयोग करेगी। इसके अलावा आईएफसी प्रत्यक्ष विदेशी निवेश लाने में भी मदद करेगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में उत्तर प्रदेश सरकार और अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम (आईएफसी) के बीच हुई बैठक में प्रदेश में बुनियादी ढांचे, सार्वजनिक-निजी भागीदारी (पीपीपी) और कृषि क्षेत्र में निवेश पर विस्तृत चर्चा की गई।