एक पेड़ के नीचे दो चीते आराम कर रहे हैं, एक की आंखें चमकदार और चौकस हैं, दूसरा बेफिक्र होकर सुस्ता रहा है. उसको मालूम है कि उसका सहोदर उसकी निगरानी कर रहा है. इस खूबसूरत जोड़ी के परे क्षितिज तक झाड़ियां फैली हुई हैं. किसी भी वन्यजीव उत्साही के लिए केन्या में मासाई मारा नेशनल रिजर्व के 1,510 वर्ग किलोमीटर की सफारी मुराद पूरी होने जैसी है. आपकी पाई-पाई वसूल हो जाती है.
हमारे 4x4 सफारी लैंड क्रूजर पर वॉकी-टॉकी पर रह-रहकर “रोजा, रोजा!" (स्थानीय उच्चारण में 'रॉजर' ऐसा ही सुनाई देता है) की आवाज आती है, अफ्रीकी सवाना इतना असीम है और जानवर इतने ज्यादा हैं कि देखने की आपकी प्यास कभी पूरी नहीं होती. यही नहीं, तमाम जानवर इंसानों की मौजूदगी के इस कदर आदी हो चुके हैं कि वे अपनी गतिविधि में मस्त रहते हैं, बशर्ते कोई छेड़छाड़ न हो. लिहाजा, यहां भारत के विपरीत गेम ड्राइव चुपचाप आयोजित नहीं की जाती. अपने देश में हम बिल्कुल खामोश रहने की कोशिश करते हैं. सभी सफारी ड्राइवर लगातार अपने वॉकी-टॉकी पर बात करते रहते हैं, जानकारी लेते-देते रहते हैं और उनकी बातचीत गेमिंग अनुभव का हिस्सा बन जाती है.
सफारी, गजब का!
पांच बड़े-शेर, तेंदुए, हाथी, केप बफलो और गेंडे-हमारी सूची से फौरन हटा दिए जाते हैं, लेकिन हम कई अलग-अलग प्रजातियों को देखते हैं. जेबरा, दो तरह के जिराफ, विभिन्न प्रकार के हिरण, गज्जाल, दरियाई घोड़ा, लकड़बग्घा, बबून, शुतुरमुर्ग और यहां बड़ी संख्या में अनोखे पक्षी हैं.
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शब्द हैं तो सब है
शब्द और साहित्य की जादुई दुनिया का जश्न मनाते लेखक-राजनेता शशि थरूर अपने निबंधों की किताब के साथ हाजिर
अब बड़ी भूमिका के लिए बेताब
दूरदराज की मंचीय प्रतिभाओं को निखारने का बड़ा प्लेटफॉर्म बनकर उभरा एमपीएसडी. नई सोच वाले निदेशक के साथ अब वह एक नई राह पर. लेकिन क्या वह एनएसडी जैसा मुकाम बना पाएगा?
डिजिटल डकैतों पर सख्त कार्रवाई
नया-नवेला जिला डीग तेजी से देश में ऑनलाइन ठगी का केंद्र बनता जा रहा था. राज्य सरकार और पुलिस की निरंतर कार्रवाई की वजह से राजस्थान के इस नए जिले में पिछले छह महीने के दौरान साइबर अपराध की गतिविधियों में आई काफी कमी
सनसनीखेज सफलता
पल में मजाकिया, पल में खौफनाक. हिंदी सिनेमा में हॉरर कॉमेडी फिल्मों का आया नया जमाना. चौंकने-डरने को बेताब दर्शकों के कंधों पर सवार होकर भूतों ने धूमधाम से की बॉक्स ऑफिस पर वापसी
ममता के लिए मुश्किल घड़ी
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और उनकी सरकार खिन्न और प्रदर्शन करते राज्य के लोगों का भरोसा के लिए अंधाधुंध कदम उठा रही है
ठोकने की यह कैसी नीति
सुल्तानपुर में जेवर की दुकान में डकैती के आरोपी मंगेश यादव को मुठभेड़ में मार डालने के बाद विपक्षी दलों के निशाने पर योगी सरकार. फर्जी मुठभेड़ एक बार फिर बनी मुद्दा
अग्निपरीक्षा की तेज आंच
अदाणी जांच में हितों के टकराव के आरोपों में घिरीं और अपने ही स्टाफ में उभरते विद्रोह से सेबी की मुखिया से ढेरों जवाब और खुलासों की दरकार
अराजकता के गर्त में वापसी
केंद्र और राज्य के निकम्मेपन से मणिपुर में नए सिरे से उठीं लपटें, अबकी बार नफरत की दरारें और गहरी तथा चौड़ी लगने लगीं, अमन बहाली की संभावनाएं असंभव-सी दिखने लगीं
अब आई मगरमच्छों की बारी
राजस्थान में 29 जुलाई, 2024 की दोपहर विधानसभा में राजस्थान लोकसेवा आयोग (आरपीएससी) परीक्षा में पेपर लीक को लेकर सियासत गरमाई हुई थी. प्रतिपक्ष के नेता टीकाराम जूली ने पेपर लीक के मामलों को लेकर भजनलाल शर्मा सरकार पर यह आरोप जड़ दिया कि अभी तक सरकार ने छोटी-छोटी मछलियां पकड़ी हैं, मगरमच्छ तो अभी भी खुले घूम रहे हैं. इस हमले का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा, \"आप बेफिक्र रहिए जल्द ही हम उन मगरमच्छों को भी पकड़ेंगे जो बाहर घूम रहे हैं.\"
नहरें: थीं तो बेशक ये पानी के ही लिए
सीवान शहर के पास जुड़कन गांव के कृष्ण कुमार अपने गांव में खुदी पतली-सी नहर की पुलिया पर बैठे मिले. ऐन नहर के किनारे उनका पंपसेट लगा था, जिससे वे अपने खेत की सिंचाई कर रहे थे. वे नहर के बारे में पूछते ही उखड़ गए और कहने लगे, \"50 साल पहले नहर की खुदाई हुई थी. हमारे बाप-दादा ने भी इसके लिए अपनी जमीन दी. हमारा दस कट्ठा जमीन इसमें गया. जमीन का पैसा मिल गया था. मगर इस नहर में एक बूंद पानी नहीं आया. सब जीरो हो गया, जीरो पानी आता तो क्या हमको पंपसेट में डीजल फूंकना पड़ता.\"