चाय की तलब और इसे बनाने के तरीके, चाय के शौकीनों को हमेशा कुछ नया आजमाने को प्रेरित करते रहे हैं. लेकिन भारत में तकरीबन 20,000 करोड़ रुपए के इस उद्योग की स्थिति अब कुछ ऐसी हो गई है जिस पर खास ध्यान देने की जरूरत है. घरेलू बाजार में कीमतें गिरने और निर्यात में सुस्ती के कारण सितंबर माह से अब तक पश्चिम बंगाल में 16 चाय बागान बंद हो चुके हैं. इनमें आठ बागान - अंबोटिया, मूंदाकोटी, रोंगमुक सीडार, चोंगटोंग, मुल्लूतार, नागरी, पैंडोम और पेशोक - दार्जिलिंग जिले में स्थित हैं, जबकि तीन - कथलगुड़ी, बामनडांगा-तोंडु और सैमसिंग - जलपाईगुड़ी जिले में हैं. बाकी पांच बागान कलचीनी, रायमातांग, दालसिंहपारा, डालमोर और रामझोरा राज्य के अलीपुरद्वार जिले में हैं. अक्तूबर में त्योहारी सीजन शुरू होने के बीच बागानों के बंद होने से 10,000 से अधिक चाय बागान श्रमिकों का जीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है.
भारतीय चाय संघ (आइटीए) जैसे बागान मालिकों के समूहों का कहना है कि कीमत वसूल न हो पाने और निर्यात में गिरावट ने बागान मालिकों के लिए नकदी संकट की स्थिति उत्पन्न कर दी है. हालांकि, अनित थापा के भारतीय गोरखा प्रजातांत्रिक मोर्चा से जुड़े हिल तराई डुआर्स प्लांटेशन वर्कर्स यूनियन जैसे श्रमिक संघों का दावा है कि बागान बंद करना पूर्व नियोजित था क्योंकि मालिक त्योहारी बोनस का भुगतान न करके श्रमिकों का वाजिब हक मारना चाहते थे. यूनियन अध्यक्ष जे. बी. तमांग का आरोप है कि बागान मालिक हमेशा मजदूरों को अपेक्षित भुगतान न करने के पीछे 'कारोबार में मंदी' का रोना रोते रहते हैं.
बेजार बाजार
चाय उत्पादक भारत के विभिन्न स्थानों के साथ-साथ देश के बाहर भी चाय की बिक्री नीलामी केंद्रों के जरिये करते हैं. भारतीय चाय उत्पादकों के सबसे पुराने संगठन आइटीए की तरफ से वित्त वर्ष 2023-24 के लिए हालिया अध्ययन के मुताबिक, संगठित क्षेत्र में क्रश-टियर-कर्ल (सीटीसी) या डस्ट टी की नीलामी कीमतों में असम में 12.49 रुपए प्रति किलोग्राम और पश्चिम बंगाल में 11.30 रुपए प्रति किलोग्राम की गिरावट आई है.
This story is from the November 29, 2023 edition of India Today Hindi.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber ? Sign In
This story is from the November 29, 2023 edition of India Today Hindi.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber? Sign In
शादी का म्यूजिकल
फ़ाज़ा जलाली पृथ्वी थिएटर फेस्टिवल में इस बार भारतीय शादियों पर मजेदार म्यूजिकल कॉमेडी रनअवे ब्राइड्स लेकर हाजिर हुईं
शातिर शटल स्टार
हाल में एक नए फॉर्मेट में इंडोनेशिया में शुरू नई अंतरराष्ट्रीय लीग बैडमिंटन -एक्सएल के पहले संस्करण में शामिल अश्विनी पोनप्पा उसमें खेलने वाली इकलौती भारतीय थीं
पुराने नगीनों का नया नजराना
पुराने दिनों की गुदगुदाने वाली वे सिनेमाई यादें आज के परदे पर कैसी लगेंगी भला ! इसी जिज्ञासा का नतीजा है कि कई पुरानी फिल्में फिर से सिनेमाघरों में रिलीज हो रहीं और दर्शकों को खींचकर ला रहीं
जख्म, जज्बात और आजादी
निखिल आडवाणी के निर्देशन में बनी फ्रीडम ऐट मिडनाइट पर आधारित सीरीज में आजादी की उथल-पुथल से एक मुल्क बनने तक की कहानी
किस गफलत का शिकार हुए बाघ?
15 बाघों की गुमशुदगी के पीछे स्थानीय वन अधिकारियों की ढीली निगरानी व्यवस्था, राजनैतिक दबाव और आंकड़ों की अविश्वसनीयता है
कंप्यूटिंग में नई क्रांति की कवायद
आइआइएससी के शोधकर्ताओं ने मस्तिष्क प्रेरित कंप्यूटिंग की दिशा में लंबी छलांग लगाते हुए एक ऐसा उपकरण तैयार किया है जो न्यूरल सिनेप्सेज की तरह सूचनाओं को प्रोसेस करता है. इसमें रफ्तार, क्षमता और डेटा सुरक्षा की भरपूर संभावना
चीन की चुनौती
जैसे-जैसे भारत और चीन के बीच तनाव कम हो रहा और व्यापार बढ़ रहा है, भारत के सामने सस्ते चीनी आयात को किनारे लगाने तथा घरेलू उद्योग की जरूरतों को प्रोत्साहित करने की कठिन चुनौती
कौन सवारी करेगा मराठा लहर पर
मराठा समुदाय के लोगों में आक्रोश है और मनोज जरांगे - पाटील के असर में मराठवाड़ा 'से आखिरकार यह भी तय हो सकता है कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव की बाजी किसके हाथ लगेगी
फिर बना सियासत का मर्कज
सुप्रीम कोर्ट ने पलटा 1968 में अजीज बाशा मामले में दिया गया फैसला. भाजपा नेताओं के निशाने पर आया एएमयू, आरक्षण, तालीम पर उठा रहे सवाल
जानलेवा तनाव
भारतीय कंपनियों में गैर - सेहतमंद कार्य - संस्कृति से कर्मचारियों की जान पर बन आई है. इससे वे तरह-तरह की मानसिक और शारीरिक बीमारियों की चपेट में आ रहे और कई मौकों पर तो यह कल्चर उनके लिए मौत का सबब बन रही