मक्का के मुख्य रोग एवं उनकी रोकथाम
Modern Kheti - Hindi|15th June 2023
मक्का दुनिया में सबसे महत्वपूर्ण अनाज फसलों में से एक है।
प्रीति वर्मा, विनोद कुमार मलिक, अनिल कुमार और ममता खेपड
मक्का के मुख्य रोग एवं उनकी रोकथाम

गेहूं और चावल के बाद भारत में मक्का तीसरा सबसे महत्वपूर्ण खाद्य अनाज हैं। इसका मुख्य रूप से प्रत्यक्ष मानव उपभोग और पशु पोल्ट्री फीड के लिए उपयोग किया जाता है। मक्का को अनाज के बीच अपनी उपज क्षमता के कारण चमत्कारिक फसल या अनाज की रानी के रूप में जाना जाता हैं। भारत में मक्का लगभग 9.26 मिलियन हैक्टेयर क्षेत्र में 2.4 मिलियन टन उत्पादन के साथ उगाया जाता है और औसत उत्पादकता लगभग 2560 कि.ग्रा. प्रति हैक्टेयर है। हरियाणा में खरीफ के दौरान क्रमशः 8 हजार हैक्टेयर क्षेत्र में 18 हजार टन उत्पादन और 2250 कि.ग्रा. प्रति हैक्टेयर की औसत उपज के साथ खेती की जाती है।

मक्का का विश्व कृषि में महत्वपूर्ण स्थान है। भारत में अनाजों के क्षेत्र में प्रति हैक्टेयर पैदावार में मक्का का तीसरा स्थान, कुल उत्पादन में चौथा तथा कुल क्षेत्र में पांचवा स्थान है। लेकिन मक्का में लगने वाले रोग इसकी उत्पादकता व गुणवत्ता को प्रभावित करते हैं। मक्का की फसल पर 65 रोगों में से 16 रोग फसल पर प्रतिकूल असर डालते हैं। इन रोगों के कारण फसल में 13.2 प्रतिशत की हानि होती है। मौसम अनुकूल होने के कारण खरीफ मक्का में रोग अधिक लगते हैं। यदि किसान भाई मक्का में लगने वाले रोगों की सही पहचान करके उनकी रोकथाम कर लें तो मक्का का उत्पादन व उत्पादकता को काफी हद तक बढ़ाया जा सकता है। मक्का में लगने वाले प्रमुख रोगों के लक्षण व उनकी रोकथाम के उपाय निम्नलिखित हैं:

1. बीज गलन और अंगमारी : यह रोग पिथियम, पैनिसिलियम, फ्यूजेरियम, एक्रीमोनियम व स्कलेरोसियम नामक फंफूद के कारण होता हैं इस रोग से बीज या उगता हुआ पौधा गल या मर जाता है व जिससे जमाव कम होता है और पौधों का फुटाव कम होने से पौधों की संख्या कम भी हो जाती है।

Bu hikaye Modern Kheti - Hindi dergisinin 15th June 2023 sayısından alınmıştır.

Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.

Bu hikaye Modern Kheti - Hindi dergisinin 15th June 2023 sayısından alınmıştır.

Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.

MODERN KHETI - HINDI DERGISINDEN DAHA FAZLA HIKAYETümünü görüntüle
कपास विज्ञानी - डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव
Modern Kheti - Hindi

कपास विज्ञानी - डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव

डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव एक उजबेक विज्ञानी हैं जिनको 2013 के इंटरनेशनल कॉटन एडवाईजरी कमेटी रिसर्चर के तौर पर जाना जाता है। डॉ. इब्रोखिम वाई. अबदूराखमोनोव कोलाबोरेटर प्रोजैञ्चट डायरेञ्चटर हैं।

time-read
1 min  |
1st November 2024
बिहार का सॉफ्टवेयर इंजीनियर कर रहा ड्रैगन फ्रूट की खेती
Modern Kheti - Hindi

बिहार का सॉफ्टवेयर इंजीनियर कर रहा ड्रैगन फ्रूट की खेती

आज के अधिकांश युवा पीढ़ी के किसान अपनी पारंपरिक खेती से दूर हो रहे हैं। उसी में कुछ ऐसे किसान हैं जो स्टार्टअप के रूप में अत्याधुनिक खेती कर लाखों रुपए कमा रहे हैं।

time-read
2 dak  |
1st November 2024
अब मशीनें पकड़ेंगी दूध में यूरिया की मिलावट
Modern Kheti - Hindi

अब मशीनें पकड़ेंगी दूध में यूरिया की मिलावट

भारत में टैक्नोलॉजी को तेजी से बढ़ाया जा रहा है जिससे आम जनता को काफी फायदा मिल रहा है। अब ज्यादा दिनों तक दूध में यूरिया की मिलावट करने वाली कंपनियां लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ नहीं कर पाएंगी। मिलावटी दूध में यूरिया का पता तरबूज के बीज से लगाने के लिए बायो इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस ढञ्ज-का ने बना लिया है।

time-read
2 dak  |
1st November 2024
मिट्टी जांच के लिए आईआईटी कानपूर ने बनाई मशीन
Modern Kheti - Hindi

मिट्टी जांच के लिए आईआईटी कानपूर ने बनाई मशीन

आईआईटी कानपुर ने मिट्टी की जांच के लिए एक डिवाइस विकसित किया है, जो 90 सैकेंड में मिट्टी के 12 पोषक तत्वों की जांच कर सकता है। यह उपकरण किसानों को उनकी मिट्टी की गुणवत्ता के बारे में तुरंत जानकारी प्रदान करेगा, जिससे वे अपनी फसलों को उचित पोषण दे सकते हैं।

time-read
1 min  |
1st November 2024
हजार साल पुराना बीज भी हुआ अंकुरित
Modern Kheti - Hindi

हजार साल पुराना बीज भी हुआ अंकुरित

कृषि वैज्ञानिकों, वनस्पति विज्ञानियों और इतिहासकारों के एक अंतराष्ट्रीय दल को हजार साल पुराने बीज को उगाने में सफलता मिली है। इस बीज से फूटा अंकुर अब एक परिपक्व पेड़ में तब्दील हो चुका है। गौरतलब है कि यह बीज इजरायल की एक गुफा में पाया गया था।

time-read
2 dak  |
1st November 2024
दो अरब लोगों को नहीं मिल रहा पोषक तत्व
Modern Kheti - Hindi

दो अरब लोगों को नहीं मिल रहा पोषक तत्व

विश्व खाद्य दिवस हर साल 16 अक्टूबर को मनाया जाता है, जो वर्तमान समय की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक-भूख और खाद्य असुरक्षा की ओर ध्यान आकर्षित करता है। यह दिन भोजन की कमी और कुपोषण से जूझ रहे लाखों लोगों की दुर्दशा की ओर दुनिया भर का ध्यान आकर्षित करने का भी है, टिकाऊ कृषि, समान खाद्य वितरण और पौष्टिक भोजन तक सभी की पहुंच परम आवश्यक है।

time-read
2 dak  |
1st November 2024
क्या जीएम फसलें लाभकारी हैं?
Modern Kheti - Hindi

क्या जीएम फसलें लाभकारी हैं?

जेनेटिकली मोडीफाईड फसलें (जीएम) एक बड़े विवाद का विषय रही हैं। हाल ही में मैक्सिको की सरकार ने अपनी सबसे महत्वपूर्ण फसल मक्का को जीएम से बचाने के लिए एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार की है।

time-read
3 dak  |
1st November 2024
रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि से किसानों को बड़ी राहत
Modern Kheti - Hindi

रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य में वृद्धि से किसानों को बड़ी राहत

केंद्र सरकार ने प्रमुख रबी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया। यह बढ़ोतरी विपणन वर्ष 2025-26 के लिए सभी रबी फसलों के लिए की गई। है।

time-read
1 min  |
1st November 2024
फल, सब्जियों में उपयोग होने वाली नीम तुलसी कीटनाशक बनाने की वैज्ञानिक विधि
Modern Kheti - Hindi

फल, सब्जियों में उपयोग होने वाली नीम तुलसी कीटनाशक बनाने की वैज्ञानिक विधि

फल, सब्जियों की अच्छी पैदावार के लिए नीम तुलसी कीटनाशक काफी लाभदायक साबित होती है। इस कीटनाशक को बनाने के लिए किसानों को अधिक मेहनत करने की जरुरत नहीं है। इसके लिए आज हम आसान वैज्ञानिक विधि लेकर आए हैं, यहां जानें नीम तुलसी कीटनाशक बनाने की पूरी विधि -

time-read
2 dak  |
1st November 2024
उत्तर प्रदेश को FDI लाने में करेगा मदद IFC; कृषि, सोलर और इन्फ्रा क्षेत्रों का होगा विकास
Modern Kheti - Hindi

उत्तर प्रदेश को FDI लाने में करेगा मदद IFC; कृषि, सोलर और इन्फ्रा क्षेत्रों का होगा विकास

अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम (आईएफसी) उत्तर प्रदेश में कृषि क्षेत्र, सौर ऊर्जा और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए आर्थिक सहयोग करेगी। इसके अलावा आईएफसी प्रत्यक्ष विदेशी निवेश लाने में भी मदद करेगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में उत्तर प्रदेश सरकार और अंतर्राष्ट्रीय वित्त निगम (आईएफसी) के बीच हुई बैठक में प्रदेश में बुनियादी ढांचे, सार्वजनिक-निजी भागीदारी (पीपीपी) और कृषि क्षेत्र में निवेश पर विस्तृत चर्चा की गई।

time-read
1 min  |
1st November 2024