राज्य में सियासी तपिश बढ़ती जा रही है। 2024 के लोकसभा चुनाव सिर पर खड़े हैं। ऐसे में प्रदेश में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) विधानसभा चुनाव के जादू को बरकरार रखना चाहती है, तो सत्ता से बेदखल कांग्रेस बदला लेने कर फिराक में है।
भाजपा राज्य की सभी 11 लोकसभा सीटों और कांग्रेस 6 लोकसभा सीटों पर अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर चुकी है। कांग्रेस ने पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को राजनंदगांव से उतारा है। उनके मुकाबले भाजपा ने मौजूदा सांसद संतोष पांडेय पर दोबारा भरोसा जताया है। संतोष पांडेय 2023 विधानसभा चुनाव में बस्तर संभाग के प्रभारी थे, जिसकी 12 में से 8 सीटों पर भाजपा जीतने में कामयाब रही थी।
अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित जांजगीर लोकसभा सीट भाजपा के लिए सबसे महत्वपूर्ण मानी जा रही है। यही वजह है कि भाजपा ने अपने लोकसभा चुनाव का शंखनाद इसी इलाके से किया जब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने यहां विजय संकल्प सभा की।
दरअसल, पिछले विधानसभा चुनाव से पहले 13 अगस्त 2023 को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने जांजगीर में पहली सभा को संबोधित किया था और इस हलके की सभी 8 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस ने जीत हासिल कर ली थी। भाजपा एक भी सीट नहीं जीत पाई। पिछली विधानसभा में विपक्ष के नेता रहे नारायण चंदेल तथा अकलतरा से भाजपा के कद्दावर नेता सौरभ सिंह भी चुनाव हार गए। इन 8 में से 7 सीटों पर कांग्रेस की जीत का अंतर 10 हजार वोटों से ज्यादा का था।
Bu hikaye Outlook Hindi dergisinin April 01, 2024 sayısından alınmıştır.
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