इसमें दो राय नहीं कि डोनाल्ड ट्रम्प की जीत राष्ट्रपति चुनाव के अमेरिकी इतिहास में एक पूर्व राष्ट्रपति की हार के बाद शानदार वापसी का दुर्लभ अध्याय है, लेकिन क्या यह रूढ़िवादी गोराशाही की नुमाइंदगी करने वाले ट्रंपवाद की भी जीत है ? अभी तो नहीं। ट्रंप भी शायद अपने विजय भाषण में इसकी पुष्टि करते नहीं लगते। कुछ हैरानी के साथ वे बोले, “ओ माइ गॉड! दे केम फ्रॉम एवरीवेयर, लैटिनो, ब्लैक, मेक्सिकन अमेरिकन, इंडियन अमेरिकन, मुस्लिम अमेरिकन... ऐंड यस, यस विमेन!" इसके अलावा, यह भी देखिए कि डेमोक्रेट उम्मीदवार कमला हैरिस से लोकप्रिय वोट में ट्रंप की जीत का अंतर दो प्रतिशत अंक से भी कम है। लगभग यही अंतर पिछले तीन चुनावों में रहा है। आखिरी बार बड़ी जीत 2008 में बराक ओबामा ने रिपब्लिकन जॉन मैक्केन को सात प्रतिशत अंकों के अंतर से हरा कर दर्ज की थी। साथ ही कांग्रेस और सिनेट में भी डेमोक्रेट बड़ी संख्या में जीत कर आए थे। इस बार ट्रंप को कांग्रेस और सिनेट दोनों में बेहद मामूली बहुमत हासिल है। इसके मायने यह हैं कि 2026 के मध्यावधि चुनाव में बदलते रुझान वाले राज्यों के रिपब्लिकन शायद ट्रंप को मेक अमेरिका ग्रेट अगेन वाले अभियान में समर्थन न दे पाएं। मसलन, येल यूनिवर्सिटी के विधि और राजनीतिविज्ञान के प्रोफेसर ब्रूस एकरमैन एक लेख में लिखते हैं, "अगर वे एफर्टेबल केयर एक्ट (जो ओबामाकेयर नाम से चर्चित है और जिसे ट्रम्प अपने पहले कार्यकाल में दावों के बावजूद नहीं बदल पाए थे) या टैरिफ बढ़ाने का समर्थन करते हैं, तो उन्हें कीमतों और मेडिकल खर्च में इजाफे पर वोटरों की नाराजगी 2026 में झेलनी पड़ सकती है।
Bu hikaye Outlook Hindi dergisinin December 09, 2024 sayısından alınmıştır.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber ? Giriş Yap
Bu hikaye Outlook Hindi dergisinin December 09, 2024 sayısından alınmıştır.
Start your 7-day Magzter GOLD free trial to access thousands of curated premium stories, and 9,000+ magazines and newspapers.
Already a subscriber? Giriş Yap
'वाह उस्ताद' बोलिए!
पहला ग्रैमी पुरस्कार उन्हें विश्व प्रसिद्ध संगीतकार मिकी हार्ट के साथ काम करके संगीत अलबम के लिए मिला था। उसके बाद उन्होंने कुल चार ग्रैमी जीते
सिने प्रेमियों का महाकुंभ
विविध संस्कृतियों पर आधारित फिल्मों की शैली और फिल्म निर्माण का सबसे बड़ा उत्सव
विश्व चैंपियन गुकेश
18वें साल में काले-सफेद चौखानों का बादशाह बन जाने वाला युवा
सिनेमा, समाज और राजनीति का बाइस्कोप
भारतीय और विश्व सिनेमा पर विद्यार्थी चटर्जी के किए लेखन का तीन खंडों में छपना गंभीर सिने प्रेमियों के लिए एक संग्रहणीय सौगात
रफी-किशोर का सुरीला दोस्ताना
एक की आवाज में मिठास भरी गहराई थी, तो दूसरे की आवाज में खिलंदड़ापन, पर दोनों की तुलना बेमानी
हरफनमौला गायक, नेकदिल इंसान
मोहम्मद रफी का गायन और जीवन समर्पण, प्यार और अनुशासन की एक अभूतपूर्व कहानी
तुम मुझे यूं भुला ना पाओगे
रफी जैसा बनने में केवल हुनर काम नहीं आता, मेहनत, समर्पण और शख्सियत भी
'इंसानी भावनाओं को पर्दे पर उतारने में बेजोड़ थे राज साहब'
लव स्टोरी (1981), बेताब (1983), अर्जुन (1985), डकैत (1987), अंजाम (1994), और अर्जुन पंडित (1999) जैसी हिट फिल्मों के निर्देशन के लिए चर्चित राहुल रवैल दो बार सर्वश्रेष्ठ निर्देशक के लिए फिल्मफेयर पुरस्कार के लिए नामांकित हो चुके हैं।
आधी हकीकत, आधा फसाना
राज कपूर की निजी और सार्वजनिक अभिव्यक्ति का एक होना और नेहरूवादी दौर की सिनेमाई छवियां
संभल की चीखती चुप्पियां
संभल में मस्जिद के नीचे मंदिर होने का दावा करने वाली याचिका के बाद हुई सांप्रदायिकता में एक और कड़ी