काया भटनागर जब औफिस जाने के लिए अपनी कार में बैठ रही थी तो अचानक उस की कमर में तेज दर्द हुआ. यह दर्द उसे पहली बार नहीं हुआ, इस से पहले भी 2 बार उसे इस दर्द का सामना करना पड़ा था. लेकिन उस ने इसे इग्नोर किया और अब उस की यह समस्या दिनबदिन बढ़ती जा रही है. ऐसा नहीं है कि काया की उम्र 40-45 साल है. इसलिए वह यह प्रौब्लम फेस कर रही है. काया अभी महज 35 साल की है और 3 साल के बच्चे की मां है. लेकिन अभी से उसे इस तरह का दर्द होना अपने आप में चिंता का विषय है.
इस बारे में मणिपाल हौस्पिटल द्वारका में कंसल्टैंट गाइनोकोलोजिस्ट डाक्टर योगिता पाराशर कहती हैं कि 30 के बाद महिलाओं के शरीर में ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या होने लगती है. इस में हड्डियां कमजोर होने लगती हैं जिस से वे आसानी से टूट सकती हैं, इसलिए उन के फ्रैक्चर होने की संभावना बढ़ जाती है. यह समस्या आमतौर से मेनोपौज के बाद शुरू होती है जब शरीर में ऐस्ट्रोजन का उत्पादन कम हो जाता है.
भरपूर डाइट लें
अगर आप इस से बचना चाहती हैं तो कैल्सियम और विटामिन डी से भरपूर डाइट लें. पौसिबल हो तो सुबह की ताजा भी धूप भी लें . इस के अलावा वजन उठाने वाले काम करने से बचें. स्मोकिंग और शराब को अवौइड करें और साथ ही हड्डियों के स्वास्थ्य पर नजर रखने के लिए नियमित तौर से बोन डेंसिटी टैस्ट भी करवाती रहें. तभी आप एक स्वस्थ शरीर का साथ पा पाएंगी.
सिर्फ ऑस्टियोपोरोसिस ही एक ऐसी समस्या नहीं है जिस का सामना महिलाओं को 30+ होने के बाद करना पड़ता है. ऐसे बहुत से हैल्थ इशूज हैं जो महिलाएं अपनी लाइफ में 30 की उम्र पार करने के बाद देखती हैं, ये क्या हैं आइए जानते हैं:
इनरैग्युलर पीरियड्स
Bu hikaye Grihshobha - Hindi dergisinin May First 2024 sayısından alınmıştır.
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