Aha Zindagi - December 2024Add to Favorites

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In dieser Angelegenheit

सर्दियों के सुख को शाब्दिक अभिव्यक्ति देता अहा! ज़िंदगी का नवीनतम अंक। शीत ऋतु में प्रकृति की ख़ूबसूरती को पहचानने की नई दृष्टि देती आमुख कथा। साथ ही जाड़े में सेहत जोड़ने के अहम सूत्र। अहा! अतिथि के रूप में सकारात्मक ऊर्जा से भरपूर सचिन पिलगांवकर सुना रहे हैं अपने छह दशक से अधिक के कॅरियर की कहानी और ज़िंदगी के फ़साने। ज़िंदगी की किताब समर्पित है रतन टाटा के महान व्यक्तित्व और कृतित्व को। साथ हैं पुराने दु:खों, अफ़सोस और नकारात्मकताओं को छोड़कर नए साल में एक नया जीवन पाने के बारे में उपयोगी लेख।

मुश्किलें हमेशा हारती हैं

संघर्ष करने वाले हमेशा जीतते हैं, क्योंकि वे मुश्किलों को मैनेज करते समय सबसे सकारात्मक प्रतिक्रिया चुनते हैं। इससे कई बार समस्या उनके लिए सकारात्मक अवसर भी बन जाती है!

मुश्किलें हमेशा हारती हैं

3 mins

हरफ़नमौला सचिन

साठ की उम्र तक पहुंचते-पहुंचते जहां लोग अपने काम से थक जाते हैं, रिटायर हो जाते हैं, वहां सचिन पिलगांवकर फिल्म जगत में छह दशक से अधिक के सफ़र के बाद भी बचपन की ऊर्जा और उत्साह से लबालब हैं। साढ़े चार साल की उम्र में उठे उनके क़दम पकी उम्र में पहुंचकर भी नवेली राहें बना रहे हैं। बाल कलाकार के रूप में शुरुआत के बाद उन्होंने नायक, लेखक, निर्देशक, निर्माता, फिल्म संपादक, गायक, संगीतकार, नर्तक, कोरियोग्राफर जैसी तमाम भूमिकाएं निभाई और अब रेडियो शो लेकर आ रहे हैं। क्या है सड़सठ की वय में उनके मासूमियत से भरे जोश और जज़्बे का राज़, अपनी जीवनयात्रा के साथ बता रहे हैं ख़ुद सचिन, इस माह के अहा! अतिथि के रूप में...

हरफ़नमौला सचिन

10+ mins

सुखद सर्दियां

सर्दियां आते ही हर ओर जैसे एक अदृश्य मृदुलता बिछ जाती है। ठंड के इन महीनों में प्रकृति एक नए रंग में रंगी दिखाई देती है। सुबह की धुंधली चादर में ओस की बूंदें मोतियों की तरह जगमगाती हैं और पेड़ों के पत्ते जैसे किसी गूढ़ गाथा को सहलाते हुए हौले-से गुनगुनाते हैं। 'सुखद सर्दियां' शब्द युग्म से एक ऐसे अद्वितीय अनुभव की छवि उभरती है जो समूचे अंतर्मन को आनंदित कर देती है।

सुखद सर्दियां

7 mins

सर्दी में क्यों तपे धरतीं?

सर्दियों में हमें गुनगुनी गर्माहट की ज़रूरत तो होती है, परंतु इसके लिए कृत्रिम साधनों के प्रयोग के चलते धरती का ताप भी बढ़ने लगता है। यह अंतत: इंसानों और पेड़-पौधों सहित सभी जीवों के लिए घातक है। अब विकल्प हमें चुनना है: जीवन ज़्यादा ज़रूरी है या फ़ैशन और बटन दबाते ही मिलने वाली सुविधाएं?

सर्दी में क्यों तपे धरतीं?

6 mins

यह विदा करने का महीना है...

साल समाप्त होने को है, किंतु उसकी स्मृतियां संचित हो गई हैं। अवचेतन में ऐसे न जाने कितने वर्ष पड़े हुए हैं। विगत के इस बोझ तले वर्तमान में जीवन रह ही नहीं गया है। वर्ष की विदाई के साथ अब वक़्त उस बोझ को अलविदा कह देने का है।

यह विदा करने का महीना है...

4 mins

धम्मक-धम्मक आत्ता हाथी...

बाल गीतों में दादा कहकर संबोधित किया जाने वाला हाथी सचमुच इतना शक्तिशाली होता है कि बाघ और बब्बर शेर तक उससे घबराते हैं। बावजूद इसके यह किसी पर भी यूं ही आक्रमण नहीं कर देता, बल्कि अपनी देहभाषा के ज़रिए उसे दूर रहने की चेतावनी देता है। जानिए, संस्कृत में हस्ती कहलाने वाले इस अलबेले पशु की अनूठी हस्ती के बारे में।

धम्मक-धम्मक आत्ता हाथी...

7 mins

गणित से मिलने बाग़ चलें

अलौकिक सौंदर्यमय कहलाने वाला गणित ही है, जिसकी बदौलत संसार में सौंदर्य बिखरा पड़ा है! आकर्षक फूलों और सजीली सूरतों से लेकर नक्षत्रों तक गणित की ही ख़ूबियां मौजूद हैं। इसलिए, गणित का नाम सुनकर भले ही भाग जाने का मन होता हो, आइए, 22 दिसंबर को राष्ट्रीय गणित दिवस के मौके पर इससे मिलने बाग़ चलें!

गणित से मिलने बाग़ चलें

7 mins

हर अंत एक नया आरंभ होता है

जीवन में सफल होने के लिए संकल्प, प्रयास और धैर्य की आवश्यकता होती है। लेकिन रास्ते में आने वाली बाधाएं अक्सर मनोबल को कमज़ोर कर देती हैं और व्यक्ति विफल महसूस करने लगता है। इसके बावजूद साहस और सूझबूझ के साथ निरंतर प्रयास करने से अंत में सफलता अवश्य प्राप्त होती है। हनुमानजी, भगीरथ और अन्य पात्रों की कथाएं यही संदेश दे रही हैं।

हर अंत एक नया आरंभ होता है

7 mins

कौन हो तुम सप्तपर्णी?

प्रकृति की एक अनोखी देन है सप्तपर्णी। इसके सात पर्ण मानो किसी अदृश्य शक्ति के सात स्वरूपों का प्रतीक हैं और एक पुष्प के साथ मिलकर अष्टदल कमल की भांति हो जाते हैं। हर रात खिलने वाले इसके छोटे-छोटे फूल और उनकी सुगंध किसी सुवासित मधुर गीत तरह मन को आनंद विभोर कर देती है। सप्तपर्णी का वृक्ष न केवल प्रकृति के निकट लाता है, बल्कि उसके रहस्यमय सौंदर्य की अनुभूति भी कराता है।

कौन हो तुम सप्तपर्णी?

7 mins

एक कप ज़िंदगी के नाम

सिडनी का 'द गैप' नामक इलाक़ा सुसाइड पॉइंट के नाम से जाना जाता है। लेकिन इस स्थान से जुड़ी एक कहानी ऐसी है, जिसने कई जिंदगियां बचाईं। यह कहानी उस व्यक्ति की है, जिसने अपनी साधारण-सी एक पहल से अंधेरे में डूबे हुए लोगों को एक नई उम्मीद की किरण से रूबरू कराया।

एक कप ज़िंदगी के नाम

4 mins

उसी से ग़म उसी से दम

जीवन में हमारे साथ क्या होता है उससे अधिक महत्वपूर्ण है कि हम उस पर कैसी प्रतिक्रिया करते हैं। इसी पर निर्भर करता है कि हमें ग़म मिलेगा या दम। यह बात जीवन की हर छोटी-बड़ी घटना पर लागू होती है।

उसी से ग़म उसी से दम

4 mins

ख़ुशियों का पेड़

जैसे ही क्रिसमस का मौसम दस्तक देता है, हर कोने में एक ख़ास चमक बिखर जाती है। इस चमक का एक स्रोत होता है वह क्रिसमस ट्री, जो सिर्फ़ सजावट नहीं, बल्कि एक जश्न, एक उम्मीद और एक साथ होने का प्रतीक बनकर सामने आता है। इसकी हर शाखा हमें याद दिलाती है कि सर्दियों के ठंडे और अंधेरे दिनों में भी रोशनी और खुशियां बस सकती हैं।

ख़ुशियों का पेड़

3 mins

उज्ज्वल निर्मल रतन

रतन टाटा देशवासियों के लिए क्या थे इसकी एक झलक मिली सोशल मीडिया पर, जब अक्टूबर में उनके निधन के बाद हर ख़ास और आम उन्हें बराबर आत्मीयता से याद कर रहा था। रतन किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं और महज़ दो माह पहले ही उनके बारे में काफ़ी कुछ लिखा भी गया। बावजूद इसके बहुत कुछ लिखा जाना रह गया, और जो लिखा गया वह भी बार-बार पढ़ने योग्य है। इसलिए उनके जयंती माह में पढ़िए उनकी ज़िंदगी की प्रेरक किताब। रतन टाटा के समूचे जीवन को चार मूल्यवान शब्दों की कहानी में पिरो सकते हैं: परिवार, पुरुषार्थ, प्यार और प्रेरणा। उन्हें नमन करते हुए, आइए, उनकी बड़ी-सी ज़िंदगी को इस छोटी-सी किताब में गुनते हैं।

उज्ज्वल निर्मल रतन

10+ mins

मनोरम तिर्रेमनोरमा

अपने प्राकृतिक स्वरूप, ऋषि-मुनियों के आश्रम, सरोवर और सुप्रसिद्ध मेले को लेकर चर्चित गोंडा ज़िले के तीर्थस्थल तिर्रेमनोरमा की बात ही निराली है।

मनोरम तिर्रेमनोरमा

3 mins

चाकरी नहीं उत्तम है खेती...

राजेंद्र सिंह के घर पर किसी ने खेती नहीं की। लेकिन रेलवे की नौकरी करते हुए ऐसी धुन लगी कि असरावद बुजुर्ग में हर कोई उन्हें रेलवे वाले वीरजी, जैविक खेती वाले वीरजी, सोलर वाले वीरजी के नाम से जानता है। उनकी कहानी, उन्हीं की जुबानी।

चाकरी नहीं उत्तम है खेती...

3 mins

कथाएं चार, सबक़ अपार

कथाएं केवल मनोरंजन नहीं करतीं, वे ऐसी मूल्यवान सीखें भी देती हैं जो न सिर्फ़ मन, बल्कि पूरा जीवन बदल देने का माद्दा रखती हैं - बशर्ते उन सीखों को आत्मसात किया जाए!

कथाएं चार, सबक़ अपार

3 mins

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Aha Zindagi Magazine Description:

VerlagDainik Bhaskar Corp Ltd.

KategorieLifestyle

SpracheHindi

HäufigkeitMonthly

Aha! Zindagi, the New Age monthly magazine from Dainik Bhaskar Group revolves around the concept of Positive Living. A combination of body, mind and soul, its content inspires the reader to lead a Positive and good Life.

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