सहभागी पौध प्रजनन किसानों के लिए एक नई उम्मीद
Modern Kheti - Hindi|1st June 2024
सहभागी पादप प्रजनन में भागीदारी (पीपीबी) दृष्टिकोण का एक मूलभूत पहलू है। इसमें पादप प्रजनकों, किसानों, शोधकर्ताओं, उपभोक्ताओं, गैर सरकारी संगठनों, सरकारी संगठनों और कभी-कभी निजी क्षेत्र की संस्थाओं सहित विभिन्न हितधारकों के बीच सहयोग शामिल है।
डॉ. दीपक गुप्ता एवं डॉ. एन. के. गुप्ता
सहभागी पौध प्रजनन किसानों के लिए एक नई उम्मीद

ये साझेदारियां कई कारणों से सहभागी पादप प्रजनन में भागीदारी पहल की सफलता के लिए महत्वपूर्ण हैं:

1. विविध विशेषज्ञता: साझेदारी विविध विशेषज्ञता और दृष्टिकोण को एकसाथ लाती है, प्रजनकों के तकनीकी ज्ञान को किसानों की व्यावहारिक अंतर्दृष्टि और उपभोक्ताओं की विशिष्ट आवश्यकताओं और प्राथमिकताओं के साथ जोड़ती है।

2. संसाधन साझा करना: साझेदारी संसाधनों को साझा करने में सक्षम बनाती है, जिसमें वित्तीय संसाधन, बुनियादी ढांचा, जर्मप्लाज्म (पौधे आनुवंशिक सामग्री) और तकनीकी जानकारी शामिल है। यह साझाकरण संसाधन की कमी को दूर करने और सहभागी पादप प्रजनन पहल की प्रभावशीलता को बढ़ाने में मदद कर सकता है।

3. सहयोगात्मक निर्णय लेनाः सहभागी पादप प्रजनन में, प्रजनन उद्देश्यों, चयन मानदंड और प्रजनन रणनीतियों के संबंध में निर्णय अकसर शामिल सभी भागीदारों द्वारा सहयोगात्मक रूप से किए जाते हैं। यह सहभागी निर्णय लेने की प्रक्रिया सुनिश्चित करती है कि प्रजनन कार्यक्रम सभी हितधारकों की प्राथमिकताओं और मूल्यों को प्रतिबिंबित करता है।

4. स्थानीय ज्ञान एकीकरण: किसानों के पास फसल प्रदर्शन, पर्यावरणीय स्थिति, कीट और बीमारी के दबाव और उपभोक्ता प्राथमिकताओं के बारे में मूल्यवान स्थानीय ज्ञान होता है। साझेदारी इस स्थानीय ज्ञान को प्रजनन प्रक्रिया में एकीकृत करने की अनुमति देती है, जिससे ऐसी किस्में तैयार होती हैं जो स्थानीय परिस्थितियों के लिए बेहतर रूप से अनुकूलित होती हैं और किसानों और उपभोक्ताओं द्वारा अधिक आसानी से स्वीकार की जाती हैं।

5. क्षमता निर्माणः साझेदारी में अकसर क्षमता निर्माण गतिविधियाँ शामिल होती हैं जिनका उद्देश्य किसानों और अन्य हितधारकों को प्रजनन प्रक्रिया में सक्रिय रूप से भाग लेने के लिए सशक्त बनाना है। इसमें बीज चयन, फसल प्रबंधन प्रथाओं, डेटा संग्रह और अनुसंधान पद्धतियों में प्रशिक्षण शामिल हो सकता है।

Diese Geschichte stammt aus der 1st June 2024-Ausgabe von Modern Kheti - Hindi.

Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.

Diese Geschichte stammt aus der 1st June 2024-Ausgabe von Modern Kheti - Hindi.

Starten Sie Ihre 7-tägige kostenlose Testversion von Magzter GOLD, um auf Tausende kuratierte Premium-Storys sowie über 8.000 Zeitschriften und Zeitungen zuzugreifen.

WEITERE ARTIKEL AUS MODERN KHETI - HINDIAlle anzeigen
मृदा में नमी की जांच और फायदे
Modern Kheti - Hindi

मृदा में नमी की जांच और फायदे

नरेंद्र कुमार, संदीप कुमार आंतिल2, सुनील कुमार। और हरदीप कलकल 1 1 कृषि विज्ञान केंद्र सिरसा, चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय 2 कृषि विज्ञान केंद्र, सोनीपत, चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय

time-read
3 Minuten  |
15th November 2024
निस्तारण की व्यावहारिक योजना पर हो अमल
Modern Kheti - Hindi

निस्तारण की व्यावहारिक योजना पर हो अमल

पराली जलाने से हुए प्रदूषण से निपटने के दावे हर साल किए जाते हैं, लेकिन आज तक इस समस्या का स्थायी समाधान नहीं निकल सका है। यह समस्या हर साल और विकराल होती चली जा रही है।

time-read
3 Minuten  |
15th November 2024
खाद्य और पोषण सुरक्षा के लिए कारगर है कृषि वानिकी
Modern Kheti - Hindi

खाद्य और पोषण सुरक्षा के लिए कारगर है कृषि वानिकी

जैसे-जैसे विश्व की आबादी बढ़ती जा रही है, लोगों की खाद्य और पोषण सुरक्षा सुनिश्चित करने की चुनौती भी बढ़ रही है।

time-read
2 Minuten  |
15th November 2024
बढ़ा बजट उबारेगा कृषि को संकट से
Modern Kheti - Hindi

बढ़ा बजट उबारेगा कृषि को संकट से

साल था 1996 चुनाव परिणाम घोषित हो चुके थे और अटल बिहारी वाजपेयी को निर्वाचित प्रधानमंत्री के रुप में घोषित किया जा चुका था।

time-read
4 Minuten  |
15th November 2024
घट नहीं रही है भारतीय अर्थव्यवस्था में कृषि की 'प्रधानता'
Modern Kheti - Hindi

घट नहीं रही है भारतीय अर्थव्यवस्था में कृषि की 'प्रधानता'

भारतीय अर्थव्यवस्था में एक विरोधाभास पैदा हो गया है। तेज आर्थिक विकास दर के फायदे कुछ लोगों तक सीमित हो गए हैं जबकि देश की आबादी का बड़ा हिस्सा कृषि पर निर्भर है।

time-read
4 Minuten  |
15th November 2024
कृषि विकास का राह सहकारिता
Modern Kheti - Hindi

कृषि विकास का राह सहकारिता

भारत को 2028 तक पांच खरब डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने का इरादा है और इसमें जिन तत्वों और सैक्टर के योगदान की जरुरत पड़ेगी, उनमें एक है सहकारिता क्षेत्र।

time-read
3 Minuten  |
15th November 2024
मधुमक्खियां भी हो रही हैं प्रभावित हवा प्रदूषण से
Modern Kheti - Hindi

मधुमक्खियां भी हो रही हैं प्रभावित हवा प्रदूषण से

सर्दियों का मौसम आते ही देश के कई हिस्से प्रदूषण की आगोश में समा गए हैं, खासकर देश की राजधानी दिल्ली जहां सांसों का आपातकाल लगा हुआ है।

time-read
3 Minuten  |
15th November 2024
ज्वार की रोग एवं कीट प्रतिरोधी नई किस्म विकसित
Modern Kheti - Hindi

ज्वार की रोग एवं कीट प्रतिरोधी नई किस्म विकसित

भारत श्री अन्न या मोटे अनाज का प्रमुख उत्पादक है और निर्यात के मामले में भी हमारा देश दूसरे पायदान पर है।

time-read
2 Minuten  |
15th November 2024
खरपतवारों के कारण होता है फसली नुकसान
Modern Kheti - Hindi

खरपतवारों के कारण होता है फसली नुकसान

खरपतवार प्रबंधन पर एक संयुक्त अध्ययन में खुलासा हुआ है कि हर साल भारत में फसल उत्पादन में करीब 192,202 करोड़ रुपये का नुकसान खरपतवारों के कारण होता है।

time-read
2 Minuten  |
15th November 2024
जलवायु परिवर्तन बनाम कृषि विकास...
Modern Kheti - Hindi

जलवायु परिवर्तन बनाम कृषि विकास...

कृषि और प्राकृतिक स्रोतों पर आधारित उद्यम न केवल भारत बल्कि ज्यादातर विकासशील देशों की आर्थिक उन्नति का आधार हैं। कृषि क्षेत्र और इसमें शामिल खेत फसल, बागवानी, पशुपालन, मत्स्य पालन, पॉल्ट्री संयुक्त राष्ट्र के दीर्घकालिक विकास लक्ष्यों खासकर शून्य भूखमरी, पोषण और जलवायु कार्रवाई तथा अन्य से जुड़े हुए हैं।

time-read
4 Minuten  |
15th November 2024