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आजादी पर आंच
सीएए विरोधी प्रदर्शनकारी दिल्ली के शाहीन बाग में 71वां गणतंत्र दिवस मनाते हुए
आयातित ऊर्जा
ऊर्जा मंत्रालय भारत के ऊर्जा क्षेत्र से चीनी कंपनियों को दूर रखने पर काम कर रहा है. इसके लिए आयात शुल्क बढ़ाने, गैर टैरिफ बाधाएं खड़ी करने और ठेके रद्द करने जैसे विकल्पों पर विचार हो रहा
कारोबार का हथियार
सरहद पर यथास्थिति बहाल करने के लिए चीन को राजी करने की खातिर क्या भारत उसके खिलाफ आर्थिक हमले का रास्ता चुन सकता है?
कड़वी गोली
पिछले दो दशक में भारत ने दवाओं के मुख्य घटक एपीआइ तैयार करने के क्षेत्र में अपनी प्रतिस्पर्धी बढ़त चीन के हाथों खो दी है. इसे हासिल करना एक चुनौती होगी
जितनी चुनौतियां उतने ही मौके
क्या भारत दुनियाभर में उपजी चीन विरोधी भावनाओं को भुनाते हुए इसे अपने घरेलू इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए एक बड़े अवसर में तब्दील कर पाएगा?
हाथ से छूटता तानाबाना
चीनी फैक्ट्रियों की तरह कम लागत और बड़े पैमाने पर सस्ता माल बनाने की क्षमता हासिल करने के लिए भारत के टेक्सटाइल सेक्टर को अभी लंबा सफर तय करना होगा
दांतों सा चमकता करियर
मौलाना आजाद इंस्टीट्यूट ऑफ डेंटल साइंसेज के लिए उत्कृष्ट प्रशिक्षण और विश्व स्तर के दंत चिकित्सक तैयार करना राष्ट्रीय गौरव की बात है
चमत्कारी दवा की आस
रुद्र गोविंद दिल्ली के शाहदरा में दवा की दुकान चलाते हैं. वे बताते हैं कि अप्रैल में जब आइसीएमआर (इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च) ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन को कोरोना की संभावित रोगनिरोधी दवा घोषित किया था, तो लोगों की भीड़ उमड़ गई और पूरा स्टॉक दो दिनों में खत्म हो गया था.
कारोबार के जानकार
एसआरसीसी के भविष्योन्मुखी पाठ्यक्रम और राष्ट्रीय संसाधन केंद्र के तौर पर इसकी प्रतिष्ठा अपने आप इसकी उत्कृष्टता की गवाही देती है
कोविड दौर में पढ़ाई
महामारी से नया शिक्षा सत्र गड़बड़ाया और छात्र तथा कॉलेज दाखिले पर नए सिरे से सोचने को हुए मजबूर, इसी के मद्देनजर सर्वश्रेष्ठ कॉलेजों का हमारा वार्षिक सर्वेक्षण थोड़े अलग अंदाज में -
कोविड-19 के सामने योगी का हठयोग
संकट काल में ही व्यक्ति की क्षमता की परख होती है पर यह तो कोरोना वायरस के जरिए पनप रही विश्वव्यापी महामारी थी. जिस कोरोना वायरस ने विश्व के शक्तिशाली देशों को असहाय सा कर दिया था उसके सामने उत्तर प्रदेश में एक योगी का हठयोग खड़ा था. नाथ पंथ के सबसे बड़े मंदिर श्री गोरखनाथ मंदिर के पीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ के यूपी के मुख्यमंत्री की कुर्सी संभालने की तीसरी वर्षगांठ से उनके जीवन की सबसे कठिन चुनौती का आगाज हुआ था. स्वभाव से हठी योगी आदित्यनाथ ने भी यूपी को इस जानलेवा वायरस से बचाने की ठान ली थी. दूसरों पर जिम्मेदारियां डालने की बजाय योगी ने न केवल कोरोना संक्रमण के रोकथाम से जुड़े हर छोटे से छोटे कदम की भूमिका तय की बल्कि उसकी कड़ी निगरानी भी की. यूपी पर दुनिया भर की नजर लगी थी. योगी ने जिस तरह से कोरोना संक्रमण को अपने हठयोग से काबू में रखा उसकी हर जगह प्रशंसा हुई है. ट्विटर पर योगी के फॉलोअर एक करोड़ (10 मिलियन) से पार पहुंए गए तो भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आइसीएमआर) के महानिदेशक बलराम भार्गव ने भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सराहना की.
कानूनी कामयाबी
अपनी अत्याधुनिक शिक्षण प्रणाली और छोटे बैच रखने की वजह से एनएलएसआइयू इस श्रेणी में सबसे आगे
तकनीक का गढ़
संस्थान अपने स्टूडेंट्स की उद्यमिता की भावना को बढ़ावा देता है ताकि वे इसके 'आइआइटी दिल्ली फॉर सोसाइटी' दृष्टिकोण पर खरे उतर सकें
और नहीं इससे ऊंचा
अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त फैकल्टी, नई दिशा देने वाले अनुसंधान और प्रशिक्षण के जरिए अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान शिखर पर बने रहने के लिए लगातार सक्रिय -
कतरब्योंत में अव्वल
फैशन और डिजाइन शिक्षा के क्षेत्र में आ रहे बदलावों के हिसाब से खुद को तेजी से बदलकर फैशन में लगातार आगे रहा निफ्ट मजबूती से जमा है शीर्ष पर
भविष्य की खिड़की
इंडस्ट्री की जरूरतों के अनुकूल पाठ्यक्रम और व्यावहारिक ज्ञान आधारित शिक्षा के दम पर क्राइस्ट ने कंप्यूटर एप्लिकेशंस के क्षेत्र में मानक गढ़ दिया है
टिड्डी दलों पर हवाई हमला
सरकार ने पिछले दो महीनों से पश्चिमी, उत्तरी और मध्य भारत में फसलों को नुक्सान पहुंचाने वाली रेगिस्तानी टिड्डियों के झुंड को खत्म करने के लिए एक नई हवाई सुरक्षा मुहिम शुरू की है. कीटनाशक छिड़काव यंत्र से युक्त ड्रोन को केंद्रीय कृषि मंत्रालय ने टिड्डी नियंत्रण में इस्तेमाल करने के लिए मंजूरी दे दी है. इन टिड्डी दलों से सबसे ज्यादा प्रभावित दो राज्यों-राजस्थान और मध्य प्रदेश–ने इन हवाई मशीनों की तैनाती शुरू भी कर दी है.
तनाव होगा कम
भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) से लगे कई स्थानों पर अपना सैन्य जमावड़ा घटाने पर सहमति बनी है. लेकिन एलएसी के आसपास बड़े पैमाने पर अभूतपूर्व निर्माण और पैंगोंग त्सो क्षेत्र में नई स्थायी किलेबंदी, दोनों देशों के बीच सीमा पर कटुता घटाने की आशाओं पर पानी फेरते हैं.
निगाहें भविष्य की जरूरतों पर
नवाचार की लगातार तीव्र इच्छा, छात्रों के क्षितिज को विस्तार और मुकाबले की फितरत आइएचएम पूसा को अपने क्षेत्र का शीर्ष संस्थान बनाती है
सोच को निखारने का हुनर
अपने उदार अकादमिक माहौल, मशहूर छात्र सोसाइटी और शानदार प्लेसमेंट रिकॉर्ड के दम पर हिंदू कॉलेज ने दिखाया कामयाबी का रास्ता
चीन को कैसे डालें नकेल
चीन के मौजूदा हमलावर रुख की वजहें क्या हैं? और इसके मुकाबले के लिए भारत के पास सैन्य, कूटनीतिक और आर्थिक विकल्प क्या हैं?
कोरोना से निबटेगा योग
आसनों ने स्टुडियो से निकलकर स्मार्टफोन की स्क्रीन पर डेरा जमाया, जहां सेहत के दीवाने योग को उसके ऑनलाइन अवतार में नए ढंग से खोज रहे हैं -
कहर की लहर आने का अंदेशा
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का अनुमान है कि जुलाई के मध्य तक कोविड के मामले देश में चरम पर पहुंच जाएंगे और जांच के साथ-साथ संपर्कों की पहचान से ही संक्रमण के प्रसार और मृत्यु दर को कम रखा जा सकता है
आपदा या अवसर?
देशव्यापी लॉकडाउन के बाद बड़ी संख्या में प्रवासी वापस अपने राज्य लौट आए हैं, लेकिन उनके लिए रोजगार पैदा करना प्रदेश सरकार के लिए बड़ी चुनौती
पहाड़ों पर गुत्थमगुत्था
आक्रामक चीन की वजह से सीमा पर खूनी भिडंत हो गई. यह 1962 के बाद एलएसी पर सबसे बड़ा सैन्य गतिरोध है
शुरुआत अब करें भी तो कैसे
लॉकडाउन में कारोबार ठप होने से कई स्टार्ट-अप पर ताले लटक गए. ज्यादातर इकाइयों की आय पेदे पर आ लगी है. गिरते निवेश और भविष्य को लेकर अनिश्चिताओं के बीच लाखों नौकरियों पर छंटनी की तलवार लटक रही है, सो अलग
टूटकर गिरा एक और सितारा
होनहार युवा अभिनेता ने क्यों ली अपनी जान? सुशांत सिंह राजपूत की त्रासद और अकाल मौत को समझने की कोशिश कर रहा फिल्म जगत और उनके मुरीद
क्या घाटी में पनपा उग्रवाद दम तोड़ रहा है?
वर्ष 1989 से जम्मू और कश्मीर में सक्रिय अलगाववादी उग्रवादी संगठन हिज्बुल मुजाहिदीन को जबरदस्त झटका लगा है.
राजस्व जुटाने की रस्साकशी
कोविड और लॉकडाउन के कारण राज्यों को संसाधनों का भीषण अभाव दिख रहा है इसलिए केंद्र से ज्यादा रकम लेने के लिए खींचतान हो रही है
कोविड के संग जिंदगी
रोग की चपेट में आ चुके लोगों के तजुर्बे यही हैं कि ज्यादातर पर इसका हल्का असर ही हुआ, जिन्हें सघन चिकित्सा की जरूरत पड़ती है, उन्हें इससे दिलासा मिल सकती है कि ठीक होने की दर अपेक्षाकृत अधिक और मृत्यु दर कम है