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ओशो विशेषांक
मेरे संबंध में चर्चा मत करो
मैं अभी भी बोल रहा हूं
क्या है ओशो की मृत्यु का रहस्य?
क्या है ओशो की कॉपीराइट और रॉयल्टी का सच?
मेरा योगदान यह है कि...
ध्यान के जगत में ओशो का योगदान
ओशो की आवाज मुझे मेरे करीब ले आती है
प्रेम और सेक्स को किया धारणाओं से मुक्त
ओशो यानी कभी न खत्म होने वाला ‘शो’
ओशो अस्तित्व की एक अभिव्यक्ति हैं
ओशो की वाणी में सारे सुर समाहित हैं
ओशो शब्दों के सम्राट हैं
ओशो का मेरे जीवन में बहुत बड़ा योगदान है
ओशो ने मेरी समझ को विकसित किया है

स्वास्थ्य
हाइपो थायरॉइडिज्म के खतरे से रहें सतर्क
मौसमी तेवर बढ़ा सकते हैं ब्रोंकाइटिस की समस्या
पुरुष रोगों की चिकित्सा
प्रकृति की देन है आयुर्वेद
हृदय से जुड़ी सर्जरी
सर्दियों का मजा लेना हो तो अपनाएं ‘पंचमंत्र’

ज्योतिष
समृद्धिदायक रत्न पुखराज
वास्तु और व्यापार
फेंगशुई ंसे लाए खुशहाली
क्या है एन्जिल थैरेपी?
विभिन्न प्रकार की मालाएं व उनके लाभ
गुणों से भरी मूंगफली
लड़कियों... साहस और बुद्धि से काम लीजिए
पेरेंटिंग के तरीके कल, आज और कल
भारत के 4 सबसे धनी मंदिर, चढ़ता है करोड़ों का चढ़ावा

मैं अभी भी बोल रहा हूं

एक समय था जब परमात्मा मेरे जरिए बोला था । आज मैं किसी के जरिए बोल रहा हूं। जब वो संभव था, तो यह भी संभव है। यदि वो सत्य था, तो यह भी सत्य है। और यदि तुम मुझसे सही अर्थों में जुड़े हो, तो तुम्हें यह मानने में कोई अड़चन नहीं होनी चाहिए कि मैं अभी भी बोल रहा हूं।

मैं अभी भी बोल रहा हूं

10+ mins

क्या है ओशो की मृत्यु का रहस्य ?

ओशो की मृत्यु को लेकर शक या सवाल ओशो के पुराने संन्यासियों में हमेशा से रहा है। सच तो यह है कि ओशो की मृत्यु को लेकर संन्यासी भी एक मत नहीं हैं, उस पर 11 अगस्त 2016 को ए. बी. पी न्यूज पर प्रसारित रिपोर्ट 'ओशो को किसने मारा ?' ने इस विषय को और हवा दे दी, और लोगों को बातें बनाने का मौका मिल गया। क्या था उस रिपोर्ट में और क्या कहना है उसके पक्ष-विपक्ष में ओशो के वरिष्ठ संन्यासियों का आइए जानते हैं।

क्या है ओशो की मृत्यु का रहस्य ?

10+ mins

क्या है ओशो की कॉपीराइट और रॉयल्टी का सच?

ओशो की कॉपीराइट और रॉयल्टी को लेकर भी कई लोगों की शिकायते रहती हैं कि कॉपीराइट के नाम पर लोगों की वेबसाइट, यू-ट्यूब पर से कंटेन्ट हटा दिया जाता है तो किसी को ओशो की पुस्तकें प्रकाशित करने पर रोक लगा दी जाती है। इस कॉपीराइट के पीछे कि सच्चाई क्या है, आइए जानते हैं इससे जूझते ओशो के विभिन्न संन्यासियों के माध्यम से?

क्या है ओशो की कॉपीराइट और रॉयल्टी का सच?

10+ mins

ध्यान के जगत में ओशो का योगदान

ध्यान के जगत में ओशो का जो योगदान है, वह अपने आप में विशिष्ट है, क्योंकि ओशो से पूर्व ध्यान व ध्यानी की जो भी पारंपरिक परिभाषा व छवि थी ओशो ने उसमें कायाकल्प किया। ओशो ने ध्यान को नीरसता से हटाकर उत्सव के साथ जोड़ा तथा उसे व्यावहारिक एवं वैज्ञानिक दृष्टि दी । आत्मरूपांतरण में ओशो की ध्यान विधियां अपने आप में मिसाल हैं, पर कैसे आइए जानते हैं।

ध्यान के जगत में ओशो का योगदान

10+ mins

प्रेम और सेक्स को किया धारणाओं से मुक्त

हमारे मनोविज्ञान में प्रेम शब्द सेक्स के साथ इस कदर जुड़ा है कि हम बिना सेक्स के प्रेम की कल्पना भी नहीं कर सकते, फिर वह प्रेम स्त्री-पुरुष के बीच हो या दो पुरुषों या स्त्रियों के बीच | हम मान ही नहीं सकते कि बिना सेक्स के प्रेम हो सकता है। प्रेम और सेक्स के संदर्भ में ओशो ने बहुत कुछ कहा है जो हमारी सोच को बदलता है।

प्रेम और सेक्स को किया धारणाओं से मुक्त

4 mins

हाइपो थायरॉइडिज्म के खतरे से रहें सतर्क

थायराइड महिलाओं में होने वाली सबसे आम बीमारी है, लेकिन कुछ मामलों में यह काफी खतरनाक साबित होती है। यदि समय रहते इसका इलाज न कराया जाए तो इससे अन्य कई बीमारियां होने की संभावना बढ़ जाती है। अगर आप भी थायरॉइड से परेशान हैं तो हाइपो थायरॉइडिज्म जैसी स्थिति के लक्षण, कारणों के बारे में जरूर जान लें।

हाइपो थायरॉइडिज्म के खतरे से रहें सतर्क

3 mins

मौसमी तेवर बढ़ा सकते हैं ब्रोंकाइटिस की समस्या

सर्दियों का मौसम दस्तक दे रहा है। गिरते तापमान और प्रदूषण के बढ़ते स्तर के कारण खांसी-जुकाम की समस्या देखने को मिलती है। अकसर हम इसे मामूली बीमारी समझकर ओवर-द-काउंटर दवाइयों का सेवन कर लेते हैं हैं। जबकि कई बार छोटी-सी लगने वाली खांसी आगे चलकर ब्रोंकाइटिस का रूप ले लेती है।

मौसमी तेवर बढ़ा सकते हैं ब्रोंकाइटिस की समस्या

6 mins

प्रकृति की देन है आयुर्वेद

हमारे आस-पास मौजूद पेड़-पौधों से ही कई ऐसी जड़ी-बूटियां तैयार की जाती हैं, जो बड़े से बड़ा और असाध्य रोग को भी ठीक कर दे। ये वनस्पति कई औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं और हमारे स्वास्थ्य को कई लाभ देते हैं। कैसे, जानें इस लेख से।

प्रकृति की देन है आयुर्वेद

5 mins

हृदय से जुड़ी सर्जरी

हृदय की धड़कनों पर ही इंसान का जीवन पूरी तरह आश्रित है। यदि हृदय रोग हो जाए तो इसको दवाईयों से दुरुस्त किया जा सकता है परंतु यदि इसके रोग अपनी सीमा पार कर दें तो वह घातक हो सकता है। जिसका इलाज सिर्फ सर्जरी द्वारा ही संभव है इसके लिए कौनकौन सी सर्जरी की जाती है आइए जानते हैं।

हृदय से जुड़ी सर्जरी

9 mins

बुद्ध के गुणों का पावन संदेश

जो व्यक्ति बुद्ध होता है, वह सम्यक संबोधि हासिल कर लेता है, वह अनन्त गुणों से भर जाता है।

बुद्ध के गुणों का पावन संदेश

5 mins

बदलेगा घारापुरी गुफाओं का चेहरा

भारत में मुंबई के गेट वे आफ इंडिया से 15 किलोमीटर दूर स्थित एक स्थल है, जो अपनी कलात्मक गुफाओं के कारण प्रसिद्ध है।

बदलेगा घारापुरी गुफाओं का चेहरा

6 mins

वास्तु और व्यापार

वास्तुशास्त्र के मुख्य नियम हमें इस बात से सतर्क करते हैं, 'भूखंड, मकान, फ्लैट का आकार आयताकार एवं चंद्रवेदी शुभ है।' विशेष परिस्स्थितियों में ईशान का बढ़ना अतिशुभ माना गया है। मुख्य भूखंड की जान ईशान एवं नैऋत्व कोण ही हैं। इनके दूषित होने से हर रोज नई परेशानियों का सामना करने के लिए तैयार रहना चाहिए। व्यापारिक एवं रिहायशी भूखंड का चयन करने के पहले उपरोक्त बातों का विशेष ध्यान रखें।

वास्तु और व्यापार

4 mins

फेंगशुई से लाए खुशहाली

चीनी वास्तुशास्त्र 'फेंगशुई' का आजकल हमारे देश में भी काफी प्रचलन बढ़ा है। क्या है फेंगशुई तथा किस प्रकार यह हमारे जीवन में खुशहाली लाने में सहायक हो सकता है ? जानने के लिए पढ़ें यह लेख।

फेंगशुई से लाए खुशहाली

3 mins

क्या है एन्जिल थैरेपी?

विश्व भर में मनुष्य की सुख-समृद्धि एवं भलाई के लिए कई पद्धतियां हैं जिनका उपयोग हम नहीं कर पाते क्योंकि हम उस पद्धति से अपरिचित होते हैं। एन्जिल थैरेपी उन्हीं में से एक पद्धति का नाम है जिसका चलन आज कल खूब जोरों पर है। क्या है यह थैरेपी ? जानिए इस लेख से।

क्या है एन्जिल थैरेपी?

7 mins

लड़कियों... साहस और बुद्धि से काम लीजिए

आजकल लड़कियां स्वावलंबी हो गई हैं, अधिकतर फैसले वे खुद ले रही हैं। इसके बावजूद 'वे कुछ मामलों में वे कमजोर पड़ जाती हैं, खासकर प्यार के मामले में । नतीजतन, वे धोखा खाती हैं, घरेलू हिंसा का शिकार होती हैं या फिर उनकी निष्ठुरता से हत्या कर दी जाती है। यदि आप भी ऐसी ही किसी दुविधा में हैं तो साहस और बुद्धि से काम लीजिये।

लड़कियों... साहस और बुद्धि से काम लीजिए

5 mins

पेरेंटिंग के तरीके कल, आज और कल

परवरिश का हर तरीका अपने आप में बेहतरीन है, चाहे वह पुराना हो या नया। माता-पिता के प्यार की चाश्नी में डूबी परवरिश गलत हो भी कैसे सकती है, फिर चाहे वह नई हो या पुरानी। आइए जानते हैं नई और पुरानी परवरिश के बीच का फर्क।

पेरेंटिंग के तरीके कल, आज और कल

4 mins

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UtgiverDiamond Magazines Pvt. Ltd

KategoriHealth

SpråkHindi

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Sadhna Path is a health and wellness magazine which also covers spirituality and ayurveda in collaboration with Sadhna Channel. Sadhna Path is an endeavour taken under the aegis of Diamond magazines, to make discerning and callous people stop aping the West blindly and realise their country's worth. It is a monthly Hindi transformative magazine being published for the last eight years, covering religion, astrology, spirituality, vaastu and Feng Shui. It is a complete magazine for your mind, body and soul.

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