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महान दार्शनिक, शिक्षाविद् एवं कुशल प्रशासक डॉ.राधाकृष्णन
डॉ.सर्वपल्ली राधाकृष्णन उन विद्वानों में से एक थे जो बहुतायत मानवीय गुणों एवं अद्भुत प्रतिभा के जगह एक महान भारतीय दार्शनिक के रूप में चिरस्थायी हैं। यह कहना अतिशयोक्ति न होगा कि स्वामी विवेकानंद और महर्षि अरविंद के बाद यदि कोई भी भारतीय दार्शनिक ने पूर्व की दार्शनिक मान्यताओं को पश्चिम में यथोचित जगह दिलाने हेतु काम करके एक नवीन विचार धारा का निरुपण किया, तो वे डॉ. राधाकृष्णन ही थे।

संकट हरण है अनंत चतुर्दशी व्रत
भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी को अनंत चतुर्दशी व्रत कहा जाता है। इस दिन भगवान अनंत की पूजा की जाती है । व्रत का संकल्प लेकर अनंत सूत्र बांधा जाता है। इस व्रत को करने से संकटों का नाश और सुख-सौभाग्य की प्राप्ति होती है।

श्राद्ध की महिमा और महत्त्व
शास्त्रों के मुताबिक, मनुष्य के लिए तीन ऋण बताये गए हैं पहला देव ऋण, दूसरा ऋषि व तीसरा पितृ ऋण। इनमें पितृ ऋण को श्राद्ध या पिंडदान करके उतारना आवश्यक है क्योंकि जिन माता-पिता ने हमारी आयु, आरोग्यता तथा सुख-सौभाग्य की अभिवृद्धि के लिए अनेक प्रयास किए, उनके ऋण से मुक्त न होने पर हमारा जन्म लेना निरर्थक होता है।

गणेश चतुर्थी का व्रत एवं पूजन विधि
पूजन से पूर्व की तैयारीगणेश चतुर्थी के दिन ब्रह्म मूहर्त में उठकर स्नान आदि से शुद्ध होकर शुद्ध कपड़े पहनें। आज के दिन लाल रंग के वस्त्र पहनना अति शुभ होता है। गणपति का पूजन शुद्ध आसन पर बैठकर अपना मुख पूर्व अथवा उत्तर दिशा की तरफ कर के करें।

घातक रोग है अल्जाइमर
अल्जाइमर वर्तमान समय की सबसे गंभीर बीमारियों में से एक है। यह एक मानसिक रोग है जिसके होने पर सोचने और याद रखने की क्षमता कमजोर होती है। आइए लेख में इस पर विस्तार से चर्चा करें।

तुलसी माला की महिमा
भारतीय संस्कृति विभिन्न मान्यताओं, परम्पराओं, विश्वासों और सामाजिक और धार्मिक रीति-रिवाजों से परिपूर्ण है। इस संस्कृति जैसी कोई अन्य मिसाल सम्पूर्ण विश्व में मिलना मुश्किल है। इसी संस्कृति के बहुत से मांगलिक प्रतीकों में एक अभिन्न अंग है 'तुलसी माला'।

एलोवेरा के अचूक औषधीय गुण
एलोवेरा का प्रयोग आज के समय में जेल, जूस एवं अन्य रूपों में भरपूर तरीके से किया जाता है, इसके भीतर व्याप्त गुण इसे एक गुणकारी, चमत्कारी औषधि बनाते हैं।

मद्यपान-दुखों की खान
दस रुपये से दस हजार रुपये तक रोज खर्च करने वाले करीब चालीस करोड़ से भी अधिक भारतीय शराब, सिगरेट, बीड़ी, तम्बाकू, गुटखा, गांजा, भांग, पान मसाला, ब्राउन शुगर, स्मैक, अफीम, चरस, हेरोइन जैसी चीजों के आदती हैं।

अष्टविनायक की आराधना
महाराष्ट्र में अष्टविनायक को कौन नहीं जानता, लेकिन विदर्भ के अष्टविनायक मंदिर के बारे में बहुत कम लोग ही बता पाएंगे। जानें विदर्भ के अष्टविनायक को विस्तार से।

हिन्दी का बढ़ता चलन
वर्षों से अपने ही देश मे उपेक्षित राष्ट्र भाषा हिन्दी अब सरहदों को तोड़ते हुए सात समुद्र पार भी अपनी धाक जमाने पहुंच रही है। बड़ी-बड़ी कंपनियों के बोर्डरूम से लेकर ऑस्कर के मंच तक हिन्दी का इस्तेमाल देवा-सुना जा सकता है।

वैदिक युग में राष्ट्र-ध्वज
हमारे यहां राष्ट्रीय ध्वज की चर्चा वैदिक काल में भी हुई है। मंत्रों के अनुसार उन दिनों राष्ट्रीय ध्वज का रंग लाल होता था तथा उस पर श्वेत रंग में सूर्य का चिह्न अंकित होता था। राष्ट्रीय ध्वज का यह स्वरूप हमारी संस्कृति और प्रकृति का प्रतीक था।

धागों में बंधा रक्षाकवच है रक्षाबंधन
सभी त्योहारों में रक्षा बंधन एक अनुठा उत्सव है, जो न तो किसी जयंती से संबंधित है और न ही किसी विजय राज तिलक से। इस त्योहार के तीन नाम हैं- रक्षाबंधन, वष तोड़क और पुण्य प्रदायक पर्व। यद्यपि प्रथम नाम अधिक प्रचलित है।

जन्माष्टमी मनाने के परम्परागत रूप
जन्माष्टमी का पर्व हिंदुओं में बड़े ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। भले ही इस पर्व को मनाने के तरीके हर सम्प्रदाय में थोड़े-थोड़े भिन्न हैं, पर भाव बिल्कुल एक ही है कि अपने बाल रूप प्रभु का अन्तर्मन से खूब लाड़ लड़ाना और आनन्दित होना। बड़े मंदिरों में और जिनके घरों में भी ठाकुरजी की विधिवत सेवा होती है, वहां पांच-छह दिन पहले से ही तैयारियां प्रारंभ हो जाती हैं।

क्रान्तिकारी पुरोधाओं का अप्रतिम बलिदान
आज भारत को आजाद हुए 70 वर्ष से अधिक हो चुके हैं। जिस आजाद भारत में हम सांस ले रहे हैं उसके लिए एक लंबा संघर्ष चला था। कई शूरवीरों के बलिदान के बाद हमें यह सुरव प्राप्त हुआ है।

क्या है ब्रज की चौरासी कोस यात्रा?
हिन्दू मान्यताओं में ईश्वरीय धामों की यात्राओं से घर-परिवार को बुद्धि, समृद्धि, निर्मलता, एवं ईश्वर का आशीर्वाद प्राप्त होता है। ऐसी ही एक पुण्यदायी यात्रा है ब्रज की चौरासी कोस यात्रा।

सुहागनों का पर्व तीज
श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया को श्रावणी तीज कहते हैं। उत्तर भारत में यह हरियाली तीज के नाम से भी जानी जाती है। तीज विशेष रूप से महिलाओं का त्यौहार होता है। इस व्रत को अविवाहित कन्याएं योग्य वर पाने के लिए करती हैं तथा विवाहित महिलाएं अपने सुरवी दांपत्य के लिए करती हैं।

बचें मानसून के रोगों से
आमतौर पर मानसून को आशिकाना मौसम माना जाता है, किंतु जरा बच के रहिएगा इस मौसम में। नहीं तो मौसम का आशिकाना अंदाज सेहत पर भारी पड़ सकता है।

क्या आपकी कुंडली में धन प्राप्ति योग है?
धन की चाह सबकी होती है लेकिन धन केवल मात्र हमारे चाहने भर से नहीं मिल जाता, इसके लिए कुंडली में धन योग का होना भी आवश्यक है। कुंडली में कैसे धन योग है या नहीं एवं धन प्राप्ति के टोटके जानें इस लेख से।

सावन, सोमवार और श्रद्धा
सावन का हर सोमवार जैसे शिव के नाम समर्पित हो जाता है । वर्षा की फुहारें पड़ते ही किसान फसलों के लहलहाने का सपना देखते हैं तो शिव भक्त भोलेनाथ को मनाने का। सावन की महत्ता को आइए जानते हैं इस लेख से।

ब्लड प्रेशर को नियंत्रित कर सकती हैं ये 10 जड़ी-बूटियां
जब रक्तचाप अधिक होता है तो, रक्त धमनियों के माध्यम से अधिक बलपूर्वक चलता है। यह धमनियों में नाजुक ऊतकों पर बढ़ा हुआ दबाव डालता है और रक्त वाहिकाओं को नुकसान पहुंचाता है। इस नुकसान से बचा सकती हैं कुछ जड़ी-बूटियां।

कैसे बनता है जगन्नाथ का रथ?
पुरी की जगन्नाथ रथ यात्रा पूरे विश्व में मशहूर है और इस यात्रा का मुख्य आकर्षण है तीन भव्य रथ जिन्हें प्रतिवर्ष विशेष शिल्पकारों और औजारों से बनाया जाता है। रथ निर्माण प्रकिया को जानें लेख से।

आर्थराइटिस कारण, लक्षण और निवारण
जोड़ों में दर्द का एक प्रमुख कारण आर्थराइटिस है। इसे गठिया भी कहते हैं। यह उम्र के साथ होने वाली हड्डियों के क्षय की प्रक्रिया है। इसमें हड्डियां कमजोर होकर टूटने लगती हैं। इसके और कौन से लक्षण हैं तथा क्या है उनका निवारण आइए जानें।

अमरनाथ गुफा- जहां लगता है शिव भक्तों का मेला
अमरनाथ गुफा भक्तों की आस्था का प्रतीक तो है ही साथ ही यहां बाबा बानी के दर्शन से भक्तों को एक प्रकार के आध्यात्मिक सुरव की प्राप्ति भी होती है। इतना ही नहीं यह बात भी सत्य है कि इस गुफा तक पहुंचने का सफर स्वयं में ही बहुत अद्भुत होता है। आईए इस सफर को थोड़ा और करीब से जानें इस लेख के माध्यम से।

हिंदुत्व की पहचान संस्कार
संस्कार से ही व्यक्तित्व का निर्माण होता है। हमारे वेद पुराणों में भी कई संस्कारों का वर्णन है और यह सभी संस्कार वैज्ञानिक आधारों पर निर्मित हैं। कौन-कौन से हैं संस्कार तथा क्या है इन संस्कारों का महत्त्व? आइए जानते हैं।

योग एक मार्ग अनेक
परमात्मा हो या परमशांति या फिर गणित का कोई भी छोटा सा सवाल। इन तक पहुंचने के या सवाल को हल करने के भले कई मार्ग व माध्यम होते हैं परंतु इनका उत्तर एक ही होता है ऐसे ही योग की भी विभिन्न शारवाएं हैं, विभिन्न आसन और अवस्थाएं हैं परंतु सबकी मंजिल, सबकि उपलब्धि एक ही है।

मानसिक रोग दूर करे केसर
केसर को कुंकुम एवं जाफरान भी कहा जाता है। इसकी खेती कश्मीर मे व्यापक रूप से होती है।

योग से रहें निरोग
जब तक भारत में योग के द्धारा वास्तविक शक्ति की उपासना होती रही तब तक इस देश के बच्चे शक्तिशाली होते रहे। आज इस योग शक्ति के बिना देश मृतप्राय हो रहा है। देश के कलानिधि, मायानिधि इससे रूठे हुए हैं। योग सर्व विद्याओं, सब देवों के देवत्व परमतत्त्व का कारण होने से हमारी सारी उपासनायें योग द्धारा सर्वशक्तिसंपन्न कराया करती थी।

नींद और हमारी सेहत
हमारे जीवन में जितना जरूरी काम है उतनी ही जरूरी है नींद, परंतु आज हम अपनी व्यस्तताओं में रवो कर नींद को नजर-अंदाज करते जा रहे हैं। क्या हो सकता है इसका परिणाम तथा अच्छी नींद कैसे पाएं? जानें इस लेख से

गंगा से जुड़े पर्व, उत्सव, व्रत एवं त्योहार
भारत में गंगा नदी को, हिन्दू धर्म के साथ ही नहीं संस्कृति और सभ्यता के साथ भी जोड़कर देखा गया है। इसी कारण इस नदी के साथ हमारे कई व्रत-पर्व, त्योहार मेले आदि जुड़े हुए हैं। आइए लेव से जानें पर्वो का महात्म्य व इनसे जुड़ी कथाएं।

भारत की पहचान है गंगा
भारत और दुनिया में गंगा को सर्वोच्च महत्त्व दिया गया है। इतना महत्त्व विश्व में शायद किसी और नदी को नहीं मिला। गंगा नदी को भारत की पहचान कहा जाए तो गलत न होगा।