CATEGORIES
Categorías
बाहर के बाबुओं ने बढ़ाया सरदर्द
ट्रेडमार्क जारी कराने की व्यवस्था अनधिकृत और आउटसोर्स कर्मचारियों के भरोसे होने के चलते देश भर के ट्रेडमार्क दफ्तरों में हजारों मामले अटके. इनकी समीक्षा का जिम्मा अब एक समिति के हवाले. बेचारे कारोबारी पसोपेश में
पीकर मरना नियति बना 'मद्य' प्रदेश में
पूर्ण शराबबंदी वाले राज्य बिहार के सीवान सारण जिलों में फिर से जहरीली शराब की वजह से 37 लोगों की मौत. प्रदेश में इस वजह से मरने वाले हर तीन में से दो व्यक्ति इसी इलाके से ऐसे हर हादसे के बाद लोगों और सरकारी कर्मियों को खिलाई जाती हैं कसमें. मगर घटनाएं हैं कि कमबख्त रुकने का नाम नहीं ले रहीं
पहाड़ सी चुनोती
प्रयागराज में दुनिया के सबसे बड़े धार्मिक आयोजन को बचे सिर्फ ढाई महीने. लेकिन तैयारियां अभी भी लक्ष्य से काफी पीछे. सीएम योगी ने इन्हें 10 दिसंबर तक पूरे कराने की तय की डेडलाइन और झोंकी ताकत
गली-गली गिरजाघरों से मची खलबली
राजस्थान के खासकर आदिवासी इलाकों में धर्मांतरण के मुद्दे ने खासा तूल पकड़ा. प्रदेश सरकार अब इसके खिलाफ ला रही सख्त कानून. एक जमीनी पड़ताल
कौन जीत पाएगा आदिवासी दिल
राज्य में आदिवासियों के बीच झामुमो की स्वाभाविक बढ़त को तोड़ने के लिए भाजपा को कड़ी मेहनत करनी होगी और अपने प्रतिद्वंद्वियों से सत्ता छीनने के लिए विकास के अफसाने पर जोर-शोर से आगे बढ़ना होगा
अपने वजूद बचाने की एक बड़ी जंग-
महाराष्ट्र के चुनाव में बहुत कुछ दांव पर है. छह पार्टियों के साथ दो गठबंधनों के बीच जटिल मुकाबला. ऐसा पहले कभी नहीं देखा गया. यह दो क्षेत्रीय गठजोड़ों को गुमनामी में भेज सकता है तो दो को ताज भी दिला सकता है. राष्ट्रीय राजनीति पर भी उसका सीधा असर पड़ने जा रहा
आखिर प्रियंका उतर पड़ीं मैदान में
वायनाड ने 23 अक्तूबर को कांग्रेस ने प्रत्याशी प्रियंका गांधी वाड्रा का नृत्य-संगीत से जोरदार स्वागत किया, युवा और बुजुर्ग, उनके सभी मुरीद ढोल की थाप पर थिरकते नजर आए.
बुनियादी ढाचा अब निशाने पर
मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले के गगनगिर इलाके में 20 अक्तूबर को शाम ढलते ही आतंकवादियों ने जेड-मोड़ सुरंग निर्माण स्थल से अपने शिविर लौट रहे कामगारों पर गोलीबारी कर दी.
हवाई धमकियों की दवाई
हाल में भारत के विमानन क्षेत्र को बम होने की हा झूठी धमकियों से जूझना पड़ा है. एक हफ्ते के भीतर ऐसी करीब 100 धमकियां दर्ज की गईं.
शांति के लिए मिले हाथ
एक साथ तस्वीरें यकीनन संदेश देती हैं, रिश्तों में आई गरमाहट की. रूस के कजान में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के दौरान 23 अक्तूबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग की पिछले पांच साल में पहली द्विपक्षीय बैठक हुई.
मैं सोचता नहीं
राइटर-डायरेक्टर अनीस बज्मी भूलभुलैया 3 के साथ दर्शकों के बीच वापसी कर रहे हैं. वेलकम, भूलभुलैया 2 समेत अपनी फिल्मों और अपने काम करने के तरीकों पर
ये कहां आ फंसे हम
कुन नेशनल पार्क में लाए जाने के दो साल बाद भी अफ्रीका की इन बड़ी बिल्लियों को जंगल के हिसाब से खुद को ढाल पाने के लिए खासा संघर्ष करना पड़ रहा. सरकार इसे कामयाब प्रोजेक्ट बताने का ढोल बजा रही लेकिन विशेषज्ञ इन प्राणियों को लेकर चिंतित
दुश्मन बाद में, पहले भू-माफिया से तो निबट लें
सशस्त्र बलों के पास मालिकाना हक वाली जमीन कम नहीं. लेकिन भूखे-भ्रष्ट अधिकारियों के गले लगकर भू-माफिया उसे हड़प रहे. नतीजाः राष्ट्रीय सुरक्षा खतरे में
टाटा के भरोसे का नाम नोएल
टाटा ट्रस्ट्स ने रतन टाटा के सौतेले भाई और टाटा समूह के दिग्गज नोएल टाटा को अपना चेयरमैन नियुक्त किया है. विशेषज्ञों की राय में यह देश के सबसे पुराने परोपकारी संस्थान में निरंतरता का प्रतीक है
सियासत से सिसक रहीं योजनाएं
जय प्रकाश नारायण की जयंती पर सपा सरकार में शुरू लखनऊ के जेपीएनआइसी प्रोजेक्ट को लेकर गरमाई राजनीति. बजट के अभाव में लटक गए कई अहम प्रोजेक्ट
नए रसातल में रिश्ते
ट्रूडो सरकार के नए आरोपों से भारत-कनाडा के रिश्ते फिर खराब, आर्थिक संबंधों को सबसे ज्यादा झटका लगने का अंदेशा
बेजोड़ पिस्तौलबाज बिंदास लड़की
पेरिस 2024 मनु भाकर के लिए ओलंपिक पदक के मायने में ही अहम नहीं, टोक्यो 2020 की हार का भूत भगाने के लिए भी खास, एक चैंपियन के नए सिरे से जाग उठने की प्रेरणादायक सच्ची कहानी -
जमीन के बहाने जिंदा होती एक लिपि
सारण जिले के रहने वाले वकार अहमद सिर्फ बीस साल के हैं, अभी वे जेपी यूनिवर्सिटी, छपरा में 3 जूलॉजी ऑनर्स की पढ़ाई कर रहे हैं. वकार पर बिहार सरकार के भू-राजस्व विभाग ने बड़ा भरोसा जताया है. उन्हें जमीन सर्वे के काम में जुटे राज्य के सभी अमीन और कानूनगो को एक ऐसी लिपि को पढ़ना-लिखना सिखाना है, जो अब लगभग विलुप्तप्राय है. मगर बिहार में जमीन के ज्यादातर पुराने कागजात इसी कैथी लिपि में लिखे गए हैं.
विरासत पर स्टालिन का जोर
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन अपनी पार्टी द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) की लगातार दो कार्यकाल न जीत पाने की 50 साल पुरानी मनहूसियत तोड़ना चाहते हैं. डीएमके प्रमुख के लिए महज 18 महीने बाद होने वाले विधानसभा चुनाव जीतना बेहद अहम है.
निशाने पर पटरी
इस साल सितंबर की एक सुबह महाराष्ट्र के चिकलथान और करमाड के बेहद शांत से रेलवे स्टेशनों के बीच नंदीग्राम एक्सप्रेस का इंजन पटरी पर किसी ठोस चीज से टकरा गया.
केजरीवाल बनाम स्मृति!
दिल्ली विधानसभा चुनाव में केजरीवाल के सामने किसे नेतृत्व सौंपा जाए इस पर भाजपा और कांग्रेस की अपनी-अपनी दुविधा है
फिर हिंदुत्व पर टिका दारोमदार
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत ने इस बार अपने दशहरा संबोधन में हिंदुओं के संगठित होने की जोरदार अपील की. साथ ही सख्त लहजे में चेताया, दुर्बल बने रहना अपराध है जिसे भगवान भी पसंद नहीं करते.
सिद्धरामैया को जाति का सहारा
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कार्रवाई के बीच पहले से ही मुश्किलों से घिरे मुख्यमंत्री सिद्धरामैया के समक्ष विवादास्पद जाति आधारित गणना और उपचुनाव समेत कई चुनौतियां हैं, जिन पर उनका बहुत कुछ दांव पर लगा है.
एक नई धड़कन
अभिनेत्री तृप्ति डिमरी की फिल्मों की झड़ी लगी हुई है. विकी और विद्या का वो वाला वीडियो, भूल भुलैया 3 और धड़क 2 रिलीज को तैयार. हिंदी सिनेमा की वे ताजातरीन स्टार बनीं
ऊबते अंधेरे, रोते सन्नाटे के राजमहल
खेतड़ी का संरक्षण भारत को एक अमूल्य खजाने की तरह करना चाहिए था, चाहे विशुद्ध विरासत के रूप में उसे बचाकर रखा जाता या एक ऐतिहासिक मुलाकात के स्थान के रूप में. पर 37 साल की अदालती लड़ाई में राजस्थान की एक बेशकीमती धरोहर धूल फांकने को मजबूर
कर गुजरने वाला स्वप्नदर्शी टाइटन
स्मरण एक ऐसी शालीन शख्सियत का जिसने भारत की वैश्विक महत्वाकांक्षाओं के लिए अपनी अलग ही युक्ति निकाली. उन्होंने इस्पात को सपनों में, कारों को क्रांति में और बोर्डरूम को लॉन्चिंग पैड में तब्दील कर डाला. कॉर्पोरेट परोपकार की उन्होंने एक नई परिभाषा गढ़ दी
पहले जुल्म और फिर सियासत
अमेठी में दलित शिक्षक हत्याकांड के बाद चौतरफा निशाने पर आई योगी सरकार. लोकसभा चुनाव में पासी मतों के भाजपा से छिटकने का फायदा उठाने में जुटीं दूसरी पार्टियां
बाढ़ और बर्बादी की गंभीर दर्शक यानी सरकार
उतरते सितंबर में उत्तर बिहार में आई भीषण बाढ़ ने सरकारी तैयारियों की पोल खोल दी. पिछले साल अक्तूबर से ही चल रहे तटबंध सुरक्षा अभियान के बावजूद आठ जगह तटबंध टूट गए. ऐसे में सरकारी बचाव और राहत कार्यों की धीमी सवाल उठ रहे. साल भर की बाढ़ पूर्व तैयारियों के रूप में सरकार आखिर करती क्या रही?
नहीं सीखा कोई सबक
इस ग्रैंड ओल्ड पार्टी को आत्मघाती गतिविधियों के चलते हरियाणा के रूप में एक और हार का सामना करना पड़ा. अगर समय पर पार्टी के अंदरूनी तंत्र को दुरुस्त नहीं किया गया तो महाराष्ट्र और झारखंड में भी उसकी संभावनाएं क्षीण हो सकती हैं
असल चुनौती शुरू होती है अब
इंडिया गठबंधन ने कश्मीर को लेकर तैयार भाजपा की योजनाओं पर पानी फेरा. लेकिन जम्मू-कश्मीर के केंद्र शासित क्षेत्र के दर्जे को देखते हुए वहां के लोगों की उम्मीदों पर खरा उतर पाना उमर अब्दुल्ला के लिए खासा मुश्किल होगा. वहां सत्ता की असली चाभी तो केंद्र सरकार के ही पास